कानपुर (इंटरनेट डेस्क)। World Youth Skills Day: वर्ल्ड यूथ स्किल्स डे हर साल 15 जुलाई को मनाया जाता है। इस दिन का मेन मकसद युवाओं की बेरोजगारी की चुनौतियों को दूर करना होता है। ऐसे में बतादें कि आज के कंपटीटिव जॉब मार्केट में, केवल गुड टेक्निकल स्किल होना ही आपकी ड्रीम जॉब पाने के लिए इनफ नहीं हो सकता है। आज के दौर हायरिंग मैनेजर सॉफ्ट स्किल्स पर भी फोकस कर रहे हैं। पर्सनल एट्रीब्यूट जो लोगों को दूसरों के साथ इफेक्टिव कम्युनिकेशन करने और वर्कप्लेस में सक्सेज होने में हेल्प करते हैं, इस पर काफी जोर दिया जा रहा है। यहां पांच प्रमुख सॉफ्ट स्किल्स दिए गए हैं जिन्हें आजकल हायरिंग मैनेजर ढूंढ रहे हैं और उन्हें ग्रूम करने और इनहेंस करने के कुछ टिप्स दिए गए हैं।

कोलैबोरेशन एंड टीम वर्क
एंप्लायर उन कैंडीडेट को बहुत महत्व देते हैं जो एक टीम के भीतर बेहतरीन तरीके से कोलैबोरेशन कर सकते हैं, सहयोग को बढ़ावा दे सकते हैं और गोल्स को प्राप्त कर सकते हैं। कोलैबोरेशन एंड टीम वर्क वाली क्वालिटी को डेवलप करने के लिए ग्रुप प्रोजेक्ट में ज्यादा से ज्यादा पार्टिसिपेट करें। इसके साथ ही डाइवर्स पर्सपेक्टिव सर्च करके और दूसरों के कंट्रीब्यूशन को महत्व देकर अपने कोलैबोरेशन एंड टीम वर्क स्किल को डेवलप करें।


इफेक्टिव कम्युनिकेशन
किसी भी प्रोफेशनल सेटिंग में क्लियर कम्युनिकेशन होना जरूरी होता है। हायरिंग मैनेजर उन कैंडीडेट को महत्व देते हैं जो अपने आइडियाज को क्लियरली एक्सप्रेस कर सकते हैं, सामने वाले की बात को एक्टिवली सुन सकते हैं और किसी भी जानकारी को प्रभावी ढंग से बता सकते हैं। ऐसे में इफेक्टिव कम्युनिकेशन स्किल डेवलप करने के लिए, एक्टिवली लिसनिंग यानी कि सुनने की प्रैक्टिस करें, फीड बैक मांगे और वर्बल व रीटेन कम्युनिकेशन बढ़ाने वाली एक्टिविटीज करें, जैसे कि पब्लिक स्पीकिंग क्लब व राइटिंग कोर्सेज को ज्वाइन करें।


प्रॉब्लम सॉल्विंग और क्रिटिकल थिंकिंग
एंप्लायर उन कैंडीडेट को महत्व देते हैं जो कांप्लेक्स सिचुएशन का एनालिसिस कर सकते हों। इसके अलावा क्रिटिकल थिंकिंग यानी कि आलोचनात्मक तरीके से सोच सकते हैं और प्रभावी समाधान सुझा सकते हैं। ऐसे में डाइवर्स प्रॉब्लम सॉल्विंग सिनेरियो की तलाश करके अपने प्रॉब्लम सॉल्विंग स्किल को डेवलप करें, लॉजिकल रीजनिंग की प्रैक्टिस करें इसके अलावा ब्रेनस्टॉर्मिंग सेशन में एक्टिवली पार्टिसिपेट करें।

लीडरशिप एंड इन्फ्लुएंस
स्ट्रांग लीडरशिप स्किल्स एंप्लायर्स द्वारा ज्यादा डिमांड में है। स्ट्रांग लीडरशिप स्किल्स वाले कैंडीडेट टीम की सफलता में योगदान करते हैं और ऑर्गेनाइजेशन ग्रोथ को आगे बढ़ाते हैं। स्ट्रांग लीडरशिप क्वालिटी को डेवलप करने के लिए स्टूडेंट ऑर्गेनाइजेशन में पार्टिसिपेट करें। इसके साथ दूसरे को लोगों को ज्यादा से ज्यादा गाइड करने व एक अच्छी एडवाइस देने की प्रैक्टिस करें। इसके अलावा अच्छे रिलेशनशिप बिल्ड करके अपनी इन्फ्लुएंसिंग स्किल को मजबूत करें, नेटवर्किंग एंड इफेक्टिव नेगोशिएशन टेक्निक की प्रैक्टिस करें।


एडाप्टबिलिटी एंड फ्लेक्सिबिलिटी
आज के डायनमिक वर्क एनवायरमेंट में एडाप्टबिलिटी बहुत जरूरी है। एंप्लायर उन कैंडीडेट की तलाश करते हैं जो नेविगेट चेंज कर सके, नई टेक्निक्स को अपना सकें और बदलती परिस्थितियों में कामयाब हो सकें। ऐसे में अपने कम्फर्ट जोन से बाहर निकलकर, चैलेंजिंग असाइनमेंट लेकर और सीखने और बढ़ने के अवसरों की तलाश करके अपने अंदर एडाप्टबिलिटी स्किल डेवलप करें। पाजिटिव माइंडसेट के साथ बदलाव को अपनाएं और असफलताओं का डटकर सामना करें।

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