रक्तचाप की शिकायत के बाद तोड़ा दम
मध्यप्रदेश के खरगोन जिले के एक गांव में रहने वाले सुरेश को रक्तचाप में आयी अनियमिता के चलते बेचैनी अनुभव हुई तो उसके परिवार वाले नजदीकी अस्पताल में इलाज के लिए ले गए। जहां उसकी हालत काफी नाजुक बताते हुए डाक्टरों में बड़े अस्पताल में ले जाने की सलाह दी। इस पर परिवार उसे लेकर इंदौर के एक निजी अस्पताल में पहुंचा। जहां उसका इलाज शुरू हुआ पर कुछ देर बाद डाक्टरों ने सुरेश के बेटे नितिन को बताया कि उसके पिता की मौत हो गयी है। स्तब्ध और दुखी परिवार अंतिम संस्कार की तैयारी करने लगा।
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घर लौटते हुए रास्ते में हुआ जीवित
सुरेश के बेटे उन्हें लेकर वापस खरगोन लौट रहे थे कि तभी रास्तें में सुरेश की सांसे लौट आयीं और उन्होंने आंखे खोल दीं। घर पहुंच कर अपने अंतिम संस्कार की तैयारी देख सुरेश मुस्करा दिए। बहरहाल परिवार उन्हें जीवित देख कर स्तब्ध पर बेहद खुश हुआ।
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चिकित्सकों पर आरोप
इस बीच नितिन ने स्थानीय और इंदौर के निजी अस्पताल पर लापरवाही और गलतबयानी का आरोप लगाया है। वे उन पर कार्यवाही करने का भी मन बना रहे हैं। उनका कहना है कि डाक्टरों ने ना सिर्फ उनके पिता कार सही इलाज नहीं किया बल्कि उनकी जांच में भी लापरवाही बरती। उन्होंने कहा कि डाक्टरों ने गलत बयानी करते हुए उनके जीवित पिता को मृत घोषित कर दिया। अब चिकित्सकों पर भरोसा ना करते हुए वे पिता को अस्पताल ले जाने के स्थान पर घर पर ही इलाज करवा रहे हैं।
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