डाॅ. त्रिलोकीनाथ (ज्योतिषाचार्य और वास्तुविद)। Vat Savitri Vrat Dainik Panchang 10 June 2021 गुरुवार को अमावस्या तिथि 16:23:11 तक तदोपरान्त प्रतिपदा तिथि है। अमावस्या तिथि के स्वामी पित्र देव हैं तथा प्रतिपदा तिथि के स्वामी अग्निदेव हैं। गुरुवार के दिन भगवान विष्णु जी की पूजा करने से दीर्घायु की प्राप्ति होती है। गुरुवार को दक्षिण दिशा में यात्रा नहीं करना चाहिए यदि ज्यादा आवश्यक हो तो घर से सरसों के दाने या जीरा खाकर निकले। इस तिथि में कांसे के पात्र में भोजन करना मना है। यह तिथि पितृ कार्य और शल्य क्रिया के लिए शुभ है। दिन का शुभ मुहूर्त, दिशाशूल की स्थिति, राहुकाल एवं गुलिक काल की वास्तविक स्थिति के बारे में जानकारी आगे दी गई है।
10 जून 2021 दिन- गुरुवार का पंचांग
सूर्योदयः- प्रातः 05:14:00
सूर्यास्तः- सायं 06:46:00
विशेषः- गुरुवार के दिन भगवान विष्णु जी की पूजा करने से दीर्घायु की प्राप्ति होती है।
विक्रम संवतः- 2078
शक संवतः- 1943
अयनः- उत्तरायण
ऋतुः- ग्रीष्म ऋतु
मासः- ज्येष्ठ माह
पक्षः- कृष्ण पक्ष
तिथिः- अमावस्या तिथि 16:23:11 तक तदोपरान्त प्रतिपदा तिथि
तिथि स्वामीः- अमावस्या तिथि के स्वामी पित्र देव हैं तथा प्रतिपदा तिथि के स्वामी अग्निदेव हैं।
नक्षत्रः- रोहिणी नक्षत्र 11:44:00 तक तदोपरान्त मृग नक्षत्र
नक्षत्र स्वामीः- रोहिणी नक्षत्र के स्वामी चंद्र देव जी हैं तथा मृग नक्षत्र के स्वामी मंगल देव जी हैं।
योगः- धृति 07:45:00 तक तदोपरान्त शूल
दिशाशूलः- गुरुवार को दक्षिण दिशा में यात्रा नहीं करना चाहिए यदि ज्यादा आवश्यक हो तो घर से सरसों के दाने या जीरा खाकर निकले।
गुलिक कालः- शुभ गुलिक काल 08:51:00 A.M से 10:35:00 A.M तक
राहुकालः- आज का राहुकाल 02:04:00 P.M से 03:49:00 P.M तक
तिथि का महत्वः- इस तिथि में कांसे के पात्र में भोजन करना मना है। यह तिथि पितृ कार्य और शल्य क्रिया के लिए शुभ है।
“हे तिथि स्वामी, दिन स्वामी, योग स्वामी, नक्षत्र स्वामी आप पंचांग का पाठन करने वालों पर अपनी कृपा दृष्टि बनाये रखना।”
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