देहरादून (ब्यूरो) ट्यूजडे को दोपहर करीब पौने चार बजे नियम आईएसबीटी आनंद पटाखा गोदाम में आग लग गई। आग लगने से आसपास इलाके में हड़कंप मच गया। गोदाम में तैनात स्टाफ ने पहले आग पर खुद ही काबू पाने की कोशिश की। लेकिन, आग बेकाबू होती रही। इसके बाद फायर ब्रिगेड को सूचना दी गई। जिसके बाद फायर ब्रिगेड व क्लेमेंट टाउन पुलिस मौके पर पहुंची और आग बुझाने का प्रयास किया। बड़ी घटना को देखते हुए फायर ब्रिगेड की चार गाडिय़ां मौके पर पहुंची और आग बुझाना शुरू किया।

शॉर्ट सर्किट से लगी थी आग
फायर ब्रिगेड की टीम ने गोदाम की लाइट बंद करते हुए बगल में इंद्रा आईवीएफ हॉस्पिटल से होज पाइप के माध्यम से पानी लेकर आग बुझानी शुरू की। खास बात ये है कि गोदाम में पटाखे रखे हुए थे। ऐसे में फायर ब्रिगेड ने पानी के साथ ही फोम का इस्तेमाल किया। बमुश्किल करीब दो घंटे की मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया जा सका। बताया जा रहा है कि बिजली शॉर्ट सर्किट के कारण आग लगी।

तीसरी मंजिल में था कबाड़
गोदाम के पहले व दूसरे मंजिल में भारी मात्रा में पटाखे रखे हुए थे। जबकि, तीसरी मंजिल में सामान रखा हुआ था। नीचे के पहले व दूसरे मंजिल में आग लगती तो बड़ा नुकसान हो सकता था। अग्निशमन अधिकारी वंश बहादुर यादव के अनुसार गोदाम में अग्निशमन यंत्र व 40 हजार लीटर का वाटर टैंक उपलब्ध हैै। लेकिन, लाइट बंद होने के कारण पानी का यूज नहीं हो पाया। फिलहाल, आग के कारणों की जांच की जा रही है।

कोलकाता से आते हैं पटाखे
गोदाम के संचालक आनंद के मुताबिक वे होलसेल में पटाखे बेचते हैं। उनका सारा सामान कोलकाता से आता है। छत में कुछ सामान रखा हुआ था, उसी में आग लगी। घटना के वऊ कर्मचारियों ने आग बुझाने का प्रयास किया। लेकिन, सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए पुलिस व फायर ब्रिगेड को सूचित किया गया।

कई जगह गुप-चुप बिक्री
बताया जा रहा है कि शहर में कई ऐसे इलाके हैं, जहां गुप-चुप तरीके से आतिशबाजी की सामग्री बिक्री होती है। लेकिन, संबंधित विभाग को इसकी कानोंकान तक खबर नहीं होती है। बस, हादसा हो जाए। उसके बाद जांच की बात कहकर मामले को ठंडे बस्ते में डाल दिया जाता है। इस घटना को लेकर भी कुछ ऐसी ही संभावना जताई जा रही है। स्थानीय लोग दबी जुबान में इस पटाखा गोदाम को लेकर आशंकित थे।


पटाखा गोदाम के लाइसेंस की जांच शुरू कर दी गई है। यदि इस तरह आबादी एरिया में कहीं भी पटाखा गोदाम हैं, तो उनकी भी जांच की जाएगी और नियमों के विपरीत पाए जाने पर लाइसेंस निरस्त किए जाएंगे।
-वंश बहादुर यादव, सीएफओ, देहरादून

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