देहरादून, (ब्यूरो): दून में सरकारी जमीनों पर अतिक्रमण नासूर बना हुआ है। कहीं वर्षों से कब्जे हैं, तो कहीं हटाने के बाद भी बार-बार कब्जे हो रहे हैं। भूमाफिया, सफेदपोशों की जुगलबंदी और अफसरों के लापरवाह कार्यशैली सरकारी जमीन पर अतिक्रमण का मुख्य कारण बताई जा रही है। ऐसे में जब कभी अतिक्रमण हटाने की सुध ली भी जाती है तो अधिकारी नोटिस भेजा गया है या फिर कार्यवाही गतिमान है लिखकर मामला आगे सरकाते रहते हैं। यह कागजी खानापूर्ति विभागों में परंपरा बन गई है, लेकिन अब यह परंपरा आगे नहीं चलेगी। डीएम ने विभागों को अतिक्रमण चिन्हित करते हुए अभियान चलाकर इस पर एक्शन लेने के निर्देश दिए हैं। साथ ही किस तारीख को कहां से अतिक्रमण हटाया, गया इसकी हर सप्ताह रिपोर्ट भी तलब की है।
कहां हटाए कब्जे, देने होगी रिपोर्ट
अफसरों के टालू रवैये पर डीएम सविन बंसल ने निगाहें टेढ़ी कर ली हैं। उन्होंने कहा कि अतिक्रमण हटाने के नाम पर कार्यवाही गतिमान है, लिखकर कुछ नहीं होने वाला। अधिकारी धरातल पर उतरकर सख्त कार्रवाई करें। वह प्रत्येक सप्ताह अतिक्रमण पर कार्रवाई की समीक्षा करेंगे। ट्यूजडे को कलेक्ट्रेट सभागार में आयोजित बैठक में डीएम सविन बंसल ने कहा कि सरकारी भूमि को अतिक्रमण से मुक्त करने के लिए चिह्नीकरण और अतिक्रमण बातें की कार्रवाई रूटीन प्रक्रिया में शामिल करनी होगी।
अतिक्रमण पर कड़ी कार्रवाई
डीएम सविन बंसल ने सख्ती बरतते हुए कहा कि सभी कार्यालय व विभाग अपनी भूमि का डेटाबेस तैयार करें और घेरबाड़ कर उन्हें सुरक्षित करें। डीएम ने स्पष्ट तौर पर कहा कि अधिकारी अतिक्रमण हटाने के लिए खुद को तैयार करें। उनके साथ पुलिस-प्रशासन खड़ा है। उहोंने सख्त हिदायत दी कि अतिक्रमण हटाने के नाम पर टालमटोल बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
अतिक्रमण का पूरा डाटा रखें
डीएम चेतावनी देते हुए कहा कि जो भी अतिक्रमण हटाए जा रहे हैं, उनकी रिपोर्ट तैयार करते समय तिथि का उल्लेख भी किया जाए। अन्यथा समीक्षा के दौरान किसी भी तरह की चूक पर जिम्मेदारों के विरुद्ध सख्त कार्रवाई की जाएगी। बैठक में वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अजय ङ्क्षसह, प्रभागीय वनाधिकारी नीरज कुमार, एडीएम प्रशासन जय भारत ङ्क्षसह, अपर नगर आयुक्त बीर ङ्क्षसह बुदियाल व नगर आयुक्त ऋषिकेश शैलेंद्र ङ्क्षसह नेगी मौजूद रहे।
2021 में भेजा नोटिस, अतिक्रमण हटाना बाकी
डीएम ने मीटिंग के दौरान नगर पालिका हरबर्टपुर के अधिकारियों से आसन नदी की भूमि पर अतिक्रमण के मामले का अपडेट लिया। अधिकारियों ने बताया कि प्रकरण पर नोटिस भेजे गए हैं। डीएम ने जब इसकी तिथि पूछी और जवाब में 2021 बताया गया तो वह भड़क उठे। उन्होंने इस खानापूर्ति की कार्यवाही पर अधिकारियों को फटकार लगाई। उन्होंने कहा कि सभी विभाग कार्यप्रणाली में सुधार लाएं। यदि नोटिस दिया जाता है, तो निर्धारित समय के बाद उस पर कार्रवाई होनी चाहिए। इस पर किसी भी तरह की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी।
खास बातें
- सरकारी जमीनों पर जगह-जगह अतिक्रमण
- कब्जे हटाने के लिए नहीं उठाए जाते सख्त कदम
- डीएम ने दिखाया अफसरों को आइना
- डीएम ने कार्रवाई की रिपोर्ट हर सप्ताह
की तलब
- अफसरों को कार्य प्रवृत्ति में सुधार लाने के भी निए निर्देश
- अभियान चलाकर सरकारी जमीन को कब्जामुक्त करने के लिए उठाएं सख्त कदम
- ऋषिकेश में आज से चलेगा अतिक्रमण हटाओ अभियान
- खानापूर्ति पर लगाई फटकार, लापरवाह पर जिम्मेदारों पर होगा एक्शन
सड़क से लेकर फुटपाथ पर कब्जे
शहर में अधिकांश जगहों पर सड़क से लेकर फुटपाथ पर कब्जा है। दून के सबसे मुख्य बाजार पल्टन बाजार, डिस्पेंसरी तहसील चौक, धामावाला, मोती बाजार में अवैध तरीके से रेहड़ी, ठेलियां संचालित हो रही है। इसके अलावा पैदल चलने वाले फुटपाथ पर दुकानदारों ने कब्जा कर रखा है। त्योहारी सीजन में शाम होते ही इस बाजार में निकलना मुश्किल हो जाता है। इस बाजार में पुलिस का कोई सिपाही नजर नही आता है। बाजार में दुपहिया, चारपहिया के वाहन निकलते हैं। जिससे जाम की स्थिति पैदा हो जाती है। अतिक्रमण को लेकर नगर निगम की टीम समय-समय पर संयुक्त अभियान चलाती है। बावजूद दुकानदारों की शह पर रेहड़ी, ठेली संचालक बेधड़क फुटपाथ पर कब्जा कर देते हैं।
सरकारी जमीन पर अतिक्रमण किसी भी सूरत में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। कब्जे हटाने में टालमटोल रवैया अपनाने वाले अफसरों पर सख्त एक्शन लिया जाएगा। अतिक्रमण पर अब हर सप्ताह विभागों से रिपोर्ट तलब की गई है। जल्द ही पूरा जिला अतिक्रमणमुक्त कराया जाएगा।
सविन बंसल, डीएम, देहरादूनdehradun@inext.co.in