देहरादून, (ब्यूरो): ये एग्जांपल आपको समझने के लिए काफी हो सकते हैं। बात जब साइबर क्राइम की हो तो दून समेत पूरे उत्तराखंड में इसकी संख्या लगातार बढ़ रही है। अंदाजा इस बात से लगाया जा सकता है कि एसटीएफ के रिकॉर्ड के मुताबिक जहां इस वर्ष सितंबर माह तक 84 केस साइबर क्राइम के दर्ज हुए हैं। वहीं, गत वर्ष ये संख्या महज 48 तक पहुंची थी। वहीं, वर्ष 2023 के एनसीआरपी (नेशनल साइबर क्राइम रिपोर्टिंग पोर्टल)की करें तो गत वर्ष साइबर क्राइम के उत्तराखंड में 209954 शिकायतें प्राप्त हुई थीं। जबकि, इस अगस्त यानि 8 महीनों में ये शिकायतें 12210 तक पहुंच गई है।

तेजी से बढ़ीं साइबर कंप्लेंस
साइबर क्राइम का मकडज़ाल किस रफ्तार से फैल रहा है, ये शायद बताने की जरूरत नहीं है। उत्तराखंड एसटीएफ के रिकॉर्ड मुताबिक गत वर्ष 2023 में साइबर क्राइम से संबंधित शिकायतों की संख्या 20 हजार के पार कर गई। जबकि, बताया जा रहा है कि इसके एवज में नॉर्मल क्राइम की शिकायतों की संख्या काफी कम बताई जा रही है। ये आंकड़े एनसीआरपी के हैं, जिनको स्टेट एसटीएफ ने शेयर किए हुए हैं। इसी प्रकार से वर्ष 2022 में उत्तराखंड में इन शिकायतों की संख्या 14454 और इस वर्ष जून तक 12210 पहुंच चुकी है। जबकि, अभी भी इस वर्ष के 4 महीने बाकी हैं।

एनसीआरपी में दर्ज शिकायतें
वर्ष--शिकायतें
2022--14454
2023--20954
2024--12210 (जून तक)

वर्ष 2023 में शिकायतों में टॉप डिस्ट्रिक्ट
जिले--शिकायतें
देहरादून--8581
हरिद्वार--3755
यूएसनगर--1872
नैनीताल--1642

इस वर्ष अब तक 84 केस दर्ज
बात जब साइबर क्राइम या फिर फ्रॉड की हो रही है तो इतनी बड़ी संख्या में एसटीएफ और साइबर सेल के पास पहुंची शिकायतों के एवज में केस भी दर्ज किए गए हैं। जहां वर्ष 2022 में 40, वर्ष 2023 में 48 और वर्ष 2024 में 84 केस दर्ज किए गए हैं। एसटीएफ उत्तराखंड की ओर से जारी होने वाले जानकारी के मुताबिक कई बार ऐसी स्थिति सामने आ जाती है, जब कई दिनों तक लगातार साइबर क्राइम से संबंधित धरपकड़ की सूचना सामने आ जाती हैं। एसटीएफ ने जहां वर्ष 2022 में 56 लोगों की अरेस्टिंग की। वहीं, वर्ष 2023 में 65 और इस वर्ष अब तक 45 आरोपियों को दबोचा है। साफ है कि जिस हिसाब से साइबर क्राइम सामने आ रहा है, उसी रफ्तार से एसटीएफ आरोपियों व गुनाहगारों को भी दबोच कर पीडि़तों का न्याय दिलाने की कोशिश कर रही है।

साइबर क्राइम में गिरफ्तारियां
वर्ष----गिरफ्तारियां
2022---56
2023--65
2024--45

कुल केस रजिस्टर्ड
वर्ष----केस रजिस्टर्ड
2022--30
2023--48
2024--84

साइबर क्रिमिनल्स ने ठगे 69.17 करोड़
आंकड़ों के मुताबिक साइबर क्राइम व फ्रॉड में मामलों में इस बार पीडि़तों को करीब 62.05 करोड़ का नुकसान भी उठाना पड़ा है। मतलब, साइबर क्रिमिनल के झांसे में आकर लोगों ने अपनी इतनी रकम लुटाई। एसटीएफ के अधिकारियों के मुताबिक आम लोग इन क्रिमिनल्स के लालच में आने के कारण अपनी जमा पूंजी लुटा लेते हैं। इसी प्रकार से वर्ष 2022 में 40.17 और वर्ष 2023 में 69.17 करोड़ इन क्रिमिनल्स ने लोगों से ठग लिए।

10.65 करोड़ रिकवर किए, 45 को जेल पहुंचाया
जिस प्रकार से साइबर क्रिमिनल्स ने आम लोगों को लालच देकर करोड़ों रुपये ठगे। शिकायत दर्ज होने के बाद एसटीएफ की साइबर सेल ने भी कड़ी मेहनत के बदौलत साइबर ठगों और उनके द्वारा ठगी गई रकम को भी वसूलने में कोई कमी नहीं छोड़ी। एसटीएफ ने जहां वर्ष 2022 में 2.36 करोड़, वर्ष 2023 में 7.09 करोड़ और वर्ष 2024 में जून तक 10.65 करोड़ रुपये साइबर ठगों से रिकवर किए और 45 ठगों व आरोपियों को जेल तक पहुंचाया।

नेटवर्क तोडऩा पुलिस के लिए बड़ा चैलेंज

जानकार बताते हैं कि डिजिटल युग में साइबर फ्रॉड या ठगी का नेटवर्क तोडऩा पुलिस के लिए भी किसी बड़े चैलेंज से कम नहीं है। वर्क फ्रॉम होम की तरह ही इंटरनेट मीडिया पर वीडियो लाइक करना या किसी चैनल व एप को डाउनलोड कराकर या सब्सक्राइब कराकर भी ठगी की घटना करना मानो आम बात हो गई है। जबकि, लोग इस बात को जानते हैं, लेकिन, फिर भी ऐसे फ्रॉड के चुंगल में फंसते जा रहे हैं।

इन राज्यों का नाम ज्यादा आता है सामने
-बिहार
-झारखंड
-हरियाणा
-राजस्थान
-महाराष्ट्र

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