देहरादून ब्यूरो। बैठक के बाद बुलाई गई प्रेस कॉन्फ्रेंस में जन संगठनों और विपक्षी दलों के नेताओं कहा कि 2 अक्टूबर के बंद को व्यापारी संगठनों, टैक्सी यूनियनों और विश्वविद्यालयों व कॉलेजों के छात्र संगठनों ने भी समर्थन दिया है। पत्रकारों से बातचीत करते हुए उत्तराखंड महिला मंच के अध्यक्ष कमला पंत ने कहा कि इस आंदोलन में युवा संगठन बढ़-चढ़कर भाग ले रहे हैं। अंकिता के मसले को लेकर बेरोजगार संघ जैसे संगठन ने फिलहाल नौकरियों में घोटाले की अपनी लड़ाई को छोड़कर इस आंदोलन में शामिल होने की घोषणा की है।

परिवार को रखा धोखे में
सीपीआई एमएल के इंद्रेश मैखुरी ने अंकिता मर्डर केस की न्यायिक जांच कराने की मांग की। उन्होंने कहा कि इस पूरे प्रकरण में पुलिस की भूमिका संदेह के घेरे में है। उन्होंने पुलिस के इस दावे को झूठा करार दिया कि अंकिता के परिवार को पोस्टमार्टम की कॉपी दे दी गई है। इंद्रेश मैखुरी ने कहा कि रिजॉर्ट पर बुलडोजर चलाने से भी यह बात साफ हो गई है कि पुलिस ने साक्ष्य मिटाने का प्रयास किया था। उत्तराखंड आंदोलनकारी मंच के प्रदीप कुकरेती ने राज्य भर के लोगों से 2 अक्टूबर के बंद में शामिल होने की अपील की।

जांच में लीपा-पोती का आरोप
बेरोजगार संघ के बॉबी पंवार ने आरोप लगाया कि पुलिस और प्रशासन इस मामले में लगातार लीपापोती करने का प्रयास कर रहे हैं। गढ़वाल सभा के कैलाश तिवारी ने कहा कि राज्य भर में इस बंद को सफल बनाने के लिए प्रयास किए जा रहे हैं भारत ज्ञान विज्ञान समिति की उमा भट्ट, यूकेडी के मोहित डिमरी, लुशुन टोडरिया, प्रमिला रावत, एसएफआई के नितिन मलेठा, आदि शामिल थे।

इन संगठनों का समर्थन
2 अक्टूबर के बंद को अखिल गढ़वाल सभा, युवा शक्ति संगठन, एसएफआई, भारत ज्ञान विज्ञान समिति, राज्य आंदोलनकारी मंच, जन संवाद समिति, पूर्वांचल परिषद, राजकीय पेंशनर संगठन, सरस्वती विहार समिति, जन हस्तक्षेप, चेतना आंदोलन, वनाधिकार आंदोलन, उत्तराखंड महिला मंच, धाद, संवेदना साहित्यिक मंच, व्यापार मंडल, उत्तराखंड बेरोजगार संघ सहित 30 से ज्यादा संगठनों और उत्तराखंड क्रांति दल, कांग्रेस, सीपीएम, सीपीएम एमएल, आम आदमी पार्टी आदि राजनीतिक पार्टियों के प्रतिनिधियों ने भी समर्थन दिया।

श्रीनगर में बैठक
2 अक्टूबर को उत्तराखंड बंद का समर्थन श्रीनगर के प्रगातिशीलों और गढ़वाल विश्वविद्यालय के छात्र संगठनों आइसा, आर्यन, जय हो, छात्रम, डीएसओ, पराग महिला संगठन ने किया है। सभी ने और संगठनों से समर्थन की भी अपील की है। सभी ने एक जुट हो कर कहा कि अंकिता श्रीनगर की बेटी है और उसको न्याय मिलना चाहिए। डालमिया धर्मशाला में आयोजित कार्यक्रम में अनिल स्वामी, गंगा असनोड़ा, योगेंद्र कांडपाल, शिवानी पाण्डेय, अंकित उछोली, राम प्रकाश, देवकांत देवराड़ी, अंकित रावत, संजय बिष्ट, मुकेश सेमवाल, मदन मोहन नौटियाल आदि मौजूद रहे।