देहरादून (ब्यूरो)। पुलिस के अनुसार आईएसबीटी के निकट सेवलाकलां क्षेत्र में घनी आबादी वाले यमुना एन्क्लेव के एक घर में बाहर से युवतियों और ग्राहकों को बुलाकर देह व्यापार का धंधा करने की शिकायतें मिल रही थीं। एएचटीयू ने इन शिकायतों की गोपनीय जांच की तो शिकायत सही पाई गई। पता चला कि देह व्यापार का यह अड्डा एक व्यक्ति और उसकी पत्नी मिलकर चला रहे हैं। एएचटीयू और पटेलनगर पुलिस ने फ्राइडे रात इस अड्डे पर छापा मार दिया।
तीन गिरफ्तार, दो रेस्क्यू
पुलिस का इस मकान में दो पुरुष और तीन महिलाएं मिली, जो वहां आपत्तिजनक स्थिति में थे और अनैतिक देह व्यापार चला रहे थे। इनके कमरों से आपत्तिजनक सामग्री पुलिस ने बरामद की। मकान में मौजूद लोगों में देह व्यापार का धंधा कर रहे दिलीप कुमार पुत्र धर्मपाल निवासी लतीफपुर थाना भगवानपुर जिला हरिद्वार उसकी पत्नी सविता उर्फ अंजलि और वहां मौजूद एक कस्टमर अर्जुन सिंह पुत्र दिलीप सिंह निवासी भुट्टोवाला चन्द्रमणि चोइला थाना पटेलनगर मिले। इसके अलावा वहां दो महिलाएं भी मौजूद थी। महिलाओं ने बताया कि गरीबी और मजबूरी के कारण वे इन दोनों पति पत्नी द्वारा पैसों का लालच दिए जाने के कारण यह अवैध कार्य कर रही हैं। दोनों पीडि़त महिलाओं को रेस्क्यू किया गया जबकि अनैतिक देह व्यापार के आरोप में दोनों पति पत्नी और ग्राहक को गिरफ्तार किया गया। रेस्क्यू की गई एक महिला की उम्र 25 वर्ष और दूसरी की 29 वर्ष है।
लंबे समय से चल रहा था धंधा
पूछताछ में पता चला कि दोनों पति-पत्नी पिछले काफी समय से देह व्यापार का धंधा करते आ रहे है। ये लोग आमतौर पर पॉश इलाकों और भीड़-भाड़ वाली जगहों पर ऐसा मकान किराये पर लेते हैं जिसमे मकान मालिक नहीं रहता। पति- पत्नी होने के कारण उन्हें आसानी से मकान किराये पर मिल जाता है। मकान किराये पर लेने के बाद वे फोन और व्हाट्सएप के जरिये कस्टमर्स से सम्पर्क करते हैं और डिमांड अनुसार बाहर से लड़किया बुला कर देह व्यापार का धंधा चलाते हैं। दोनों पति-पत्नी ग्राहक की डिमांड अनुसार उनको अपना कमरा अवैध कार्य के लिए उपलब्ध कराते हैंं। यदि कोई कस्टमर बाहर सर्विस मांगता है तो सविता का पति गाड़ी से लड़कियों को उस जगह छोड़ आता है। ये लोग कस्टमर्स से 1500 से लेकर 15 हजार रुपये तक वसूल लेते हैं। वे एक जगह में 6 से 7 महीने से ज्यादा किराये पर नहीं रहते, ताकि आसपास के लोगों को इनपर ज्यादा शक ना हो। पुलिस ने उनके पास से 14 हजार 600 रुपए कैश, 4 मोबाइल फोन और 40 आपत्तिजनक सामग्री बरामद की। छापेमारी के दौरान पुलिस और एएचटीयू टीम के अलावा एनजीओ के लोग भी शामिल थे।