- कोरोना के लगातार बढ़ रहे केसेज को देखते हुए गुरुद्वारा श्री हेमकुंड साहिब मैनेजमेंट ट्रस्ट ने लिया निर्णय

- हेमकुंड साहिब के पैदल मार्ग से बर्फ हटाने में जुटे जवान, बारिश और बर्फबारी से परेशानी

GOPESHWAR: इस बार हेमकुंड साहिब की यात्रा पर आने वाले श्रद्धालुओं को 7ख् घंटे पहले की कोरोना निगेटिव रिपोर्ट दिखाने के बाद ही ठहरने के लिए गुरुद्वारों में कमरा दिया जाएगा। गुरुद्वारा श्री हेमकुंड साहिब मैनेजमेंट ट्रस्ट का कहना है कि बढ़ते कोरोना संक्रमण को लेकर यह निर्णय लिया गया है।

रोजाना हो रही बारिश और बर्फबारी

ट्रस्ट के वरिष्ठ प्रबंधक सेवा सिंह ने कहा कि हेमकुंड यात्रा पर आवाजाही के लिए घोड़ा-खच्चर संचालक व स्थानीय निवासियों से वार्ता कर रणनीति बनाई जा रही है। हेमकुंड साहिब के साथ लोकपाल लक्ष्मण मंदिर के कपाट भी दस मई को खोले जाने हैं। उधर, हेमकुंड साहिब क्षेत्र में आए दिन हो रही बर्फबारी से यात्रा तैयारियों में व्यवधान उत्पन्न हो रहा है। बीत चार दिनों से यहां रोजाना बारिश व बर्फबारी हो रही है, जिससे पैदल मार्ग को दुरुस्त करने का कार्य रोकना पड़ रहा है। बताया कि अभी तक सेना हेमकुंड साहिब गुरुद्वारे से डेढ़ किमी पहले तक ही पैदल मार्ग से बर्फ हटा पाई है। हेमकुंड साहिब में भी छह फीट से अधिक बर्फ जमी हुई है। वरिष्ठ प्रबंधक सेवा सिंह ने बताया कि अटलाकोटी से हेमकुंड साहिब तक तीन किमी क्षेत्र में बर्फ काटकर रास्ता बनाने का कार्य तेजी से चल रहा है। इसमें सेना की इंजीनिय¨रग कोर के क्9 जवान जुटे हुए हैं। मंगलवार को चार और जवान यहां पहुंच गए। इसके अलावा गुरुद्वारा के ख्0 से अधिक स्वयं सेवक भी जवानों के साथ सहयोग कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि कपाट खुलने से पहले व्यवस्थाएं पूरी कर ली जाएंगी।