देहरादून ब्यूरो: बसें पूरी तरह एसी हैं, जो जीपीएस से लैस रहेंगी। यह यात्रियों लिए बेहद आरामदायक और सुविधाजनक बताई जा रही हैैं। 25 सीटर इस बस का देहरादून आईएसबीटी से जौलीग्रांट तक का किराया 200 रुपये तय किया गया है।
नॉर्मल बस से 5 गुना ज्यादा किराया
रूट पर उतरी स्मार्ट सिटी की इलेक्ट्रिक बस का किराया नॉर्मल बस से करीब पांच गुना अधिक है। सिटी और रोडवेज बस का जौलीग्रांट का किराया 30 से 35 रुपये है। ऐसे में इस बस का लुत्फ आम लोग कम ही उठा पाएंगे। स्मार्ट सिटी का ये प्रोजेक्ट कितना सफल होगा ये कहना तो मुश्किल है, लेकिन रूट का जो किराया तय किया गया है उसे स्मार्ट सिटी का आम आदमी कम ही अफोर्ड कर पाएगा।
टैक्सी से 5 गुना किराया कम
स्मार्ट सिटी के अधिकारियों का अधिक कराये को लेकर तर्क है कि नई इलेक्ट्रिक बसें पूरी तरह हाईटेक हैं। गाड़ी के अंदर फुल एसी समेत कई सुविधाएं उपलब्ध रहेंगी। आमतौर पर देखा गया कि आईएसबीटी से जौलीग्रांट ऐयरपोर्ट तक यात्री टैक्सी बुक करके 1000 रुपये तक दे रहे हैं। ऐसे में मौजूदा रूट किराया बेहद कम है।
जौलीग्रांट से सहस्त्रधारा रूट भी तय
स्मार्ट सिटी के अधिकारियों ने इलेक्ट्रिक बस का एक और रूट तय किया है। इस रूट का किराया भी 200 रुपये तय किया गया है। यह बस सहस्त्रधारा से वापस जौलीग्रांट जाएगी। उसके बाद फिर वह जौलीग्रांट से देहरादून आईएसबीटी पहुंचेगी।
फास्टैग की कार्रवाई जारी
रूटों पर उतरी इन हाईटेक इलेक्ट्रिक बसों का आरटीओ से पंजीकरण हो गया है। रूट परमिट के साथ बसों की नंबर प्लेट्स भी आ चुकी हैं। अब केवल फास्टैग लगना बाकी है। फास्टैग की कार्रवाई चल रही है।
महीने के अंत तक होगा संचालन
नई इलेक्ट्रिक बसें इस माह के आखिरी तक जनता को समर्पित हो सकती हैं। स्मार्ट सिटी के अधिकारियों की मानें तो बसों को 10 दिन के ट्रायल पर चलाया जा रहा है। रिस्पॉन्स के अनुरूप रूटों पर बसों का संचालन किया जाएगा। 25 जुलाई के बाद इन बसों को सड़क पर आम जनता के लिए उतारा जाएगा।
एयरपोर्ट के यात्रियों पर फोकस
जौलीग्रांट रूट पर इलेक्ट्रिक बस चलाने का स्मार्ट सिटी का टारगेट एयरपोर्ट आने-जाने वाले यात्रियों को हाईटेक सुविधा मुहैया कराना है। सहस्त्रधारा भी हैलीपैड है, जहां से सीजन पर अधिक संख्या में यात्री एयरपोर्ट तक जाते हैं।
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स्मार्ट सिटी की नई बसों का रूट तय होने के बाद उन्हें ट्रायल के लिए सड़क पर उतारा गया है। जौलीग्रांट से सहस्त्रधारा रूट भी तय किया गया है। दोनों रूटों का किराया बोर्ड ने 200 रुपये डिसाइड किया है। यह किराया नॉर्मल बस के मुकाबले अधिक है, लेकिन टैक्सी के मुकाबले बेहद कम है।
पदम कुमार, सीजीएम, स्मार्ट सिटी, देहरादून
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