वाराणसी (ब्यूरो)। डीसीएम (माल वाहक) के खुफिया चेंबर में छुपाया 42 किलो गांजा रामनगर पुलिस ने एसओजी टीम के साथ पकड़ लिया। डीसीएम में दो तस्करों को गिरफ्तार करके जेल भेज दिया। पकड़ी गई गांजा की खेप की कीमत साढ़े दस लाख रुपये बताई जा रही है। पुलिस अन्य तस्करों की तलाश कर रही है।
संदिग्ध वाहनों की जांच शुरू की
एसीपी कोतवाली अमित कुमार पांडेय ने पकड़े गए तस्करों के बारे में बताया कि बिहार से तस्करी करके गांजा लाने की जानकारी मिल रही थी। रामनगर पुलिस के साथ एसओजी की टीम तस्करों की तलाश में जुटी थी। इसी दौरान पुलिस टीम को जानकारी मिली कि डीसीएम में गांजा छिपाकर तस्कर बिहार से वाराणसी की ओर आ रहे हैं। टीम ने सोमवार बाइपास पुल के पास घेरेबंदी करके संदिग्ध वाहनों की जांच शुरू की। इसी दौरान एक डीसीएम आता दिखाई दिया। पुलिस को देखकर चालक ने रफ्तार बढ़ा दी और शहर की तरफ भगाने लगे। पुलिस ने घेरेबंदी कर डीसीएम को पकड़ लिया। उसकी जांच की तो वह खाली मिली।
लोहे से बनाया गया चेंबर नजर आया
संदेह होने पर पुलिस ने बारीकी से जांच की तो निचले हिस्से में वेङ्क्षल्डग करके लोहे से बनाया गया चेंबर नजर आया। पुलिस ने इसे कटवाया तो चेंबर में छुपाए गए 42 पैकेट मिले जिनमें गांजा भरा हुआ था। वजन कराने पर पता चला कि सभी पैकेट एक किलो थे। पुलिस ने डीसीएम में सवार बिहार के आरा निवासी ध्रुवनाथ ङ्क्षसह व बक्सर के जय प्रकाश यादव को गिरफ्तार कर लिया। पूछताछ में दोनों ने बताया कि बिहार से गांजा लेकर वाराणसी और आसपास के जिलों में पहुंचाते थे। उन्होंने अपने साथी बक्सर के ददन यादव के बारे में भी जानकारी दी। गांजा तस्करी के मामले में गिरफ्तार ध्रुवनाथ ङ्क्षसह रोहनिया थाने का हिस्ट्रीशीटर है। उसके खिलाफ दिल्ली में भी मुकदमा दर्ज है।