वाराणसी (ब्यूरो)'जो वादा किया वो निभाना पड़ेगा, रोके जमाना चाहे रोके खुदाई, तुमको आना पड़ेगाये चंद लाइन फिल्म ताजमहल के गीत की हैंजो बाहर रहने वाले बनारसियों के लिए हैंजिला निर्वाचन कार्यालय के कंट्रोल रूम से लगभग डेढ़ लाख लोगों को फोन कॉल की गई है, जिसमें करीब 45 हजार लोगों ने 1 जून को वाराणसी में आकर मतदान करने का वादा किया हैइसी तरह बीएचयू, काशी विद्यापीठ, संपूर्णानंद संस्कृत विश्वविद्यालय, यूपी कॉलेज, अग्रसेन कॉलेज समेत विभिन्न कॉलेजों में करीब 4 लाख 11 हजार और 9 लाख से अधिक पेरेंट्स ने संकल्प लिया है कि मतदान वाले दिन जाकर वोट जरूर डालेंगेइसके साथ ही परिवार, पड़ोसियों व दोस्तों को भी वोट डालने के लिए प्रेरित करेंगेयह प्रयास स्वीप प्रभारी सीडीओ हिमांशु नागपाल और उनकी टीम का है, जो सफल हुआ तो इस बार मतदान करने में वाराणसी पूरे प्रदेश में अव्वल रहेगा.

वाराणसी निर्वाचन कार्यालय से मेरे पास कॉल आई थीमैंने एक जून को मतदान करने का वादा किया हैइसके लिए पूरे परिवार का टिकट मुंबई से वाराणसी तक कराया है। 2014 2019 में भी मताधिकार का प्रयोग किया था

उपमन्यु सिंह दीक्षित, मुंबई

सही सरकार और सांसद चुनना सभी की जिम्मेदारी हैइसके लिए मताधिकार ही सबसे बड़ा हथियार है। 1998 के लोकसभा चुनाव से मताधिकार का प्रयोग कर रहा हूंहालांकि, वाराणसी से वोट डालने के लिए फोन आया थादिल्ली से वाराणसी का टिकट भी करा लिया है। 1 जून को जरूर मतदान करेंगे.

सुनील कुमार, दिल्ली

देश के भविष्य के लिए अच्छी सरकार और अच्छे व्यक्ति का चयन मताधिकार से ही संभव हैलोकतंत्र का सबसे बड़ा पर्व है, जिसमें पूरे परिवार के साथ शामिल होने के लिए 1 जून को बनारस जरूर पहुंचेंगेइसके लिए पूरी तैयारी पहले से ही कर रखी है

सिंपल, नोएडा

एक जिम्मेदार नागरिक होने के कारण मताधिकार का प्रयोग जरूर करना चाहिएयह सिर्फ मेरे नहीं, बल्कि पूरे बनारस के लोगों के लिए भी हैहोली, दीपावली की तरह लोकतंत्र के पर्व को इंज्वॉय करने के लिए पूरी फैमिली के साथ 31 मई को वाराणसी पहुंच रहा हूंएक जून को शत-प्रतिशत मतदान किया जाएगा.

दिग्विजय सिंह, बेंगलुरू

मतदान बढ़ाने के लिए अनोखे प्रयोग

लोकसभा चुनाव के अंतिम चरण में 1 जून को वाराणसी में वोटिंग हैइस बार मतदान प्रतिशत 75 परसेंट का लक्ष्य है, लेकिन आम चुनावों के 68 वर्षों के इतिहास में वाराणसी में सिर्फ दो बार ही 60 प्रतिशत से अधिक वोटिंग हुई हैऐसे में 70 फीसद टारगेट पूरा करना किसी चुनौती से कम नहीं हैहालांकि सीडीओ हिमांशु नागपाल ने इस बार मतदान प्रतिशत बढ़ाने के लिए तमाम अनोखे प्रयोग किए हैं, जिसमें मॉडल बूथ, पिंक बूथ, दिव्यांग बूथ के अलावा बूथों पर गर्मी से निजात के लिए नींबू पानी के साथ पेय पदार्थ का इंतजाम किया गया हैमतदाताओं को धूप से बचाव के लिए हाउस भी बनाया जाएगाइसके अलावा स्कूल कालेजों में स्टूडेंट्स के जरिए पेरेंट्स से संकल्प पत्र भरवाया गया हैविकास भवन में स्थापित कंट्रोल रूम से बाहर रहने वालों को फोन कर 1 जून को मतदान के लिए प्रेरित किया जा रहा है.

पहले चुनाव में 45.19 परसेंट वोट

देश की आजादी के बाद वर्ष 1951 में हुए पहले आम चुनाव के दौरान वाराणसी में 45.19 परसेंट वोट पड़ थेवर्ष 1957 और 1962 के चुनाव में मतदाताओं का खास रुझान दिखाइन चुनावों में क्रमश: 62.67 परसेंट और 63.20 परसेंट मतदान हुआइसके बाद वर्ष 2019 में ही 59.62 परसेंट मतदान हुआ

लोकसभा चुनाव में कब कितनी वोटिंग (परसेंट में)

1952 : - 45.19

1957 : - 62.67

1962 : -- 63.20

1967 : - 56.8

1971 : - 55.48

1977 : - 55.83

1980 : - 53.66

1984 :- 54.94

1989 : - 42.64

1991 : - 44.79

1996 : - 47.18

1998 : - 44.16

1999 : - 45.02

2004 : - 48.15

2009 : - 46.27

2014 : - 58.35

2019 : - 59.62