वाराणसी (ब्यूरो)। प्रदेश सरकार कन्याओं के जन्म से लेकर पढ़ाई तक की जिम्मेदार उठा रही है, जिससे बेटियां पढ़कर अपना भविष्य संवार सकें। कन्याओं को स्वस्थ, शिक्षित और आत्मनिर्भर बनाने के लिए मुख्यमंत्री कन्या सुमंगला योजना के तहत बालिकाओं को योजना का लाभ मिल रहा है। अब तक इस योजना के अंतर्गत 59,042 पात्र बालिकाओं को विभिन्न श्रेणी में लाभान्वित किया जा चुका है। इस योजना के तहत छह चरणों में पात्रों को प्रोत्साहन राशि दी जाती है.
59,042 बेटियों को लाभ
बेटियों की पढ़ाई में आर्थिक रुकावट न आए, इसके लिए प्रदेश सरकार ने उनके पैदा होने से लेकर शिक्षा दीक्षा का पूरा इंतजाम किया है। जिला प्रोबेशन अधिकारी सुधाकर शरण पांडेय ने बताया कि 2019 से अब तक मुख्यमंत्री कन्या सुमंगला योजना में 59,042 बेटियों को लाभ मिल चुका है। सरकार की ओर से संचालित कन्या सुमंगला योजना के तहत वर्तमान वित्तीय वर्ष में 10,012 बालिकाओं को मुख्यमंत्री कन्या सुमंगला योजना मिल चुका है।
छह चरणों में दी जाती राशि
मुख्यमंत्री कन्या सुमंगला योजना के तहत छह चरणों में पात्र लाभार्थियों को राशि दी जाती है। पहले चरण में बालिका के जन्म पर 2000 रुपए, दूसरे चरण में बालिका के एक वर्ष के टीकाकरण पूर्ण होने पर 1000 रुपए, तीसरे चरण में कक्षा 1 में प्रवेश के उपरांत 2000 रुपए, चौथे चरण में कक्षा छह में प्रवेश के उपरांत 2000 रुपए, पांचवें चरण में कक्षा 9 में प्रवेश के उपरांत 3,000 रुपए व अंतिम छठे चरण में कक्षा 12वीं पास करके स्नातक में प्रवेश के उपरांत 5000 रुपए प्रदान किए जाते हैं। योजना का लाभ 3 लाख तक आय वाले परिवारों को मिलता है.