वाराणसी (ब्यूरो)। सरकारी अस्पतालों में डाक्टर, नर्सिंग व मेडिकल स्टाफ की शत-प्रतिशत हाजिरी के लिए शासन ने सभी सीएमओ को हर दिन चार या पांच हास्पिटल के निरीक्षण करने के आदेश दिए गए हैं, लेकिन पूरे प्रदेश वाराणसी सिंगल जिला है, जहां निरीक्षण करने की जरूरत नहीं है। डीएम कौशल राज शर्मा की पहल पर जुलाई से ही जिओ फेस रिडिंग एप से सभी सरकारी अस्पतालों में डाक्टर, नर्स समेत मेडिकल स्टाफ की शत-प्रतिशत हाजिरी चेक की जाती है। इसकी जानकारी होने पर डिप्टी सीएम बृजेश पाठक ने काशी मॉडल यानी जिओ फेस रिडिंग एप को प्रदेश के हर जिलों में लांच कराने का आदेश दिया है.
डिप्टी सीएम के निरीक्षण में मिली थी खामियां
डिप्टी सीएम बृजेश पाठक ने पिछले दिनों कई अस्पतालों का निरीक्षण किया था। इस दौरान डाक्टरों के साथ मेडिकल स्टाफ की गैरहाजिरी के साथ आधारभूत सुविधाओं का अभाव मिला था। इसे लेकर डिप्टी सीएम ने नाराजगी जताई थी। 2 दिन पहले हुई समीक्षा बैठक में भी उन्होंने चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों को व्यवस्था सुधारने की हिदायत दी थी। उन्होंने सख्त चेतावनी दी थी कि यदि अस्पतालों में व्यवस्थाएं दुरुस्त नहीं हुई तो जिम्मेदार अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी.
एप से ऑनलाइन होती है निगरानी
सीएमओ डा। संदीप चौधरी ने बताया कि हर दिन चार या पांच हास्पिटल के निरीक्षण का आदेश आया है, लेकिन वाराणसी में डीएम कौशल राज शर्मा के निर्देशन में चार महीने पहले ही जिओ फेस रिडिंग एप लांच किया गया था, जिससे किसी जगह से किसी भी सीएचसी, पीएससी, मंडलीय या जिला अस्पताल में मेडिकल स्टाफ की हाजिरी देखी जा सकती है। यह पूरी तरह से ऑनलाइन मैथर्ड है। इसके जरिए दुनिया के किसी भी जगह से किसी भी हास्पिटल में यह चेक किया जा सकता है कि वहां कौन डाक्टर, नर्स या मेडिकल स्टाफ मौजूद है या नहीं।
डिप्टी सीएम ने देखा एप
वाराणसी में लांच किए गए जिओ फेस रिडिंग एप के बारे में डिप्टी सीएम बृजेश पाठक और प्रमुख सचिव स्वास्थ्य को जानकारी दी गई थी। उन्होंने एप का पूरा सिस्टम देखा और समझा। इसके बाद डिप्टी सीएम ने पूरे प्रदेश में इस एप को लांच करने का निर्देश दिया है.
निरीक्षण में यह देखनी होगी व्यवस्था
निरीक्षण के दौरान अस्पतालों में भर्ती मरीजों से बातचीत कर फीडबैक लेने, दवाओं की व्यवस्था देखने, पेयजल सफाई व्यवस्था देखने, स्ट्रेचर व व्हीलचेयर की व्यवस्था आदि पर अनिवार्य रूप से रिपोर्ट बनानी होगी। रिपोर्ट में निरीक्षण के दौरान पाई गई कमियां भी बतानी होगी। अगले राउंड के निरीक्षण के दौरान यह भी देखना होगा कि पहले निरीक्षण में पाई गई कमियां कितनी दूर हो पाई और कितनी रह गई हैं। जिन कमियों को दूर नहीं किया जा सका उनकी वजह भी बतानी होगी.
आदेश आया है। इसके तहत गुरुवार को दो हास्पिटल का निरीक्षण किया गया, जहां हाजिरी शत-प्रतिशत मिली। कुछ कमियां मिली हैं, जिसे जल्द ही पूरा करने का निर्देश दिया गया है। साथ ही काशी मॉडल यानी जिओ फेस रिडिंग एप को प्रदेश के हर जिले में लांच करने का निर्देश भी दिया गया है.
डा। संदीप चौधरी, सीएमओ