- डीडीयू जिला अस्पताल में 150 बेड तैयार
जिले में डेंगू का डंक कोरोना संक्रमण से 10 गुना तेजी से फैल रहा है। इस समय में जहां डेंगू के 132 मरीज हैं, वहीं कोरोना के केवल सात सक्रिम मामले हैं। सितंबर के सात दिन में ही डेंगू के 132 मामले सामने आ चुके हैं। बढ़ते मामले देख स्वास्थ्य विभाग भी सर्तक हो गया है। डीडीयू में 150 बेड का डेंगू वार्ड बना दिया गया है। इसके अलावा एलाइजा जांच की व्यवस्था भी की गई है। दवा भी उपलब्ध है।
जिले में करोनो से ज्यादा डेंगू और मलेरिया का खतरा मंडराने लगा है। इसे देखते हुए स्वास्थ्य विभाग भी सर्तक गया है। जिले में 133 डेंगू और 69 मलेरिया के मरीज हैं। सबसे ज्यादा मरीज निजी अस्पतालों से हैं। निजी अस्पतालों में जांच कराने और उपचार करवाने वाले लोगों में लगातार बीमारी की पुष्टि हो रही है। इसलिए जिला संक्रामक रोग नियंत्रण विभाग की ओर से सभी निजी और सरकारी अस्पतालों से डेंगू और मलेरिया मरीजों की रिपोर्ट अवगत कराने के निर्देश दिए गए हैं। जिससे संबंधि सक्रिय मामलों की निगरानी की जा सके और उनके संपर्क में आए लोगों की भी जांच की जा सके। हालांकि डेंगू से जिले में पिछले तीन साल में किसी की मौत नहीं हुई थी। लेकिन इस बार अब तक पांच मौत हो चुकी है। हालांकि डेंगू की बीमारी में मरीजों को अत्यधिक कमजोरी और खून की कमी हो जाती है। इससे अन्य बीमारियों का भी खतरा बढ़ जाता है। डेंगू के लिए बचाव और उपचार की ज्यादा जरूरत होती है। इसको देखते हुए डीडीयू जिला अस्पताल और कबीरचौरा मंडलीय अस्पताल में बुखार के मरीजों के लिए विशेष स्पेशल वार्ड बनाए गए हैं, जहां भर्ती की क्षमता सौ से अधिक है। सभी बेड में मरीजों के लिए मच्छरदानी भी लगाई गई है, जिससे बीमारी अन्य मरीज तक न पहुंच सके।
बुखार के मरीज तेजी से बढ़ने के चलते शासन की ओर से डेंगू, मलेरिया, वायरल और टाइफाइड की जांच करने के निर्देश दिए गए थे। बुखार के सभी मरीजों की जांच की जा रही है। वर्तमान में कोरोना से ज्यादा खतरा डेंगू से लोगों को खतरा है।
-डॉ। वीबी सिंह, सीएमओ