वाराणसी (ब्यूरो)। स्पेशल टास्क फोर्स ने सोमवार को पांडेयपुर स्थित देवा महिला महाविद्यालय में कर्मचारी चयन आयोग द्वारा आयोजित जनरल ड्यूटी कांस्टेबल की आनलाइन परीक्षा में साल्वर समेत तीन आरोपितों को गिरफ्तार किया है। साल्वर ने परीक्षा के लिए 20 हजार रुपये में सौदा किया था। इनके पास से एक फर्जी प्रवेश पत्र, तीन मोबाइल फोन, दो कूटरचित आधार कार्ड व 1160 रुपये बरामद किए गए। गिरफ्तार आरोपितों में लच्छू विगहा, महानन्दपुर नगरनौसा नालंदा, बिहार निवासी अजीत कुमार, ग्राम झुण्डो, थाना खैरा, जमुई, बिहार निवासी सौरभ कुमार यादव व ग्राम पचदेवरा, अट्रामपुर, थाना नवाबगंज, प्रयागराज निवासी शंभू कुमार शामिल हैं.
10 जनवरी से शुरू है परीक्षा
प्रदेश के 13 जिलों में 10 जनवरी से कुल 61 परीक्षा केंद्रों में कर्मचारी चयन आयोग द्वारा जीडी कांस्टेबल परीक्षा आयोजित है। इसे शुचितापूर्ण, पारदर्शी, नकल विहीन तरीके से कराए जाने के लिए एसटीएफ को निर्देशित किया गया था। इसी क्रम में एसटीएफ फील्ड इकाई, गोरखपुर के प्रभारी सत्यप्रकाश ङ्क्षसह को सूचना प्राप्त हुई कि प्रयागराज निवासी दिलीप कुमार उर्फ डीके व सलमान द्वारा परीक्षा में साल्वर बैठाया जा रहा है। इस सूचना पर मुख्य आरक्षी धीरेन्द्र कुमार यादव द्वारा अभिसूचना संकलन किया गया तो पता चला कि गिरोह द्वारा परीक्षा केंद्र देवा महिला महाविद्यालय मूल अभ्यर्थियों के स्थान पर साल्वरों को बैठाकर परीक्षा दिलाई जाएगी।
सूचना पर दबोचा
इस सूचना पर स्थानीय फील्ड इकाई के निरीक्षक पुनीत परिहार के नेतृत्व में टीम ने साल्वर अजीत कुमार को परीक्षा केंद्र के अंदर से व बाहर से सौरभ कुमार यादव, शंभू कुमार सरोज को दबोच लिया। बता दें कि इसी साल्वर गिरोह से संबंधित इमरान को 11 जनवरी 2023 को गिरफ्तार किया गया था। उसके विरुद्ध रोहनिया थाने में मुकदमा कराया गया था। इसके अलावा 17 जनवरी 2023 को लखनऊ से दो व्यक्तियों को गिरफ्तार किया गया था, जिसके संबंध में थाना विकासनगर, लखनऊ में मुकदमा दर्ज कराया गया था.
प्रवेश पत्र व पहचान पत्र पर फोटो मिङ्क्षक्सग कराकर लगाया
गिरफ्तार सौरभ कुमार यादव व शंभू कुमार ने पूछताछ में बताया कि दिलीप कुमार उर्फ डीके व सलमान के कहने पर साल्वर अजीत कुमार से संपर्क करके मूल अभ्यर्थी के प्रवेश पत्र व पहचान पत्र पर फोटो मिङ्क्षक्सग कराकर लगाया गया था। साल्वर अजीत कुमार ने बताया कि सौरभ कुमार व शंभू कुमार के कहने पर मूल अभ्यर्थी मोहम्मद नफीस के स्थान पर वह परीक्षा दे रहा था। इसके लिए उसे 20 हजार रुपये द्वारा दिया जाता। आरोपितों के विरुद्ध लालपुर पांडेयपुर थाने में धोखाधड़ी, कूट रचना, छल, जालसाजी, साजिश रचने समेत धारा 6/10 उप्र सार्वजनिक परीक्षा अधिनियम 1998 के तहत मुकदमा दर्ज कराया गया है.