मेरठ (ब्यूरो)। विद्युत कर्मचारियों और शासन के बीच चल रहे विवाद का भले ही पटाक्षेप हो गया हो लेकिन गत दिनों विद्युत कर्मचारियों की हड़ताल के दौरान कर्मचारियों पर दर्ज मुकदमें अभी तक वापस नहीं लिए गए हैं। इससे विद्युत कर्मचारियों में रोष व्याप्त है। इस मामले में मंगलवार को राज्य निगम कर्मचारी संयुक्त मंच के पदाधिकारियों ने कमिश्नरी पार्क से कलक्ट्रेट तक रैली निकालकर मुकदमा वापस लेने की मांग करते हुए कहा कि यदि मुकदमे वापस नहीं लिए तो फिर से आंदोलन होगा।
सीएम के नाम सौंपा ज्ञापन
राज्य निगम कर्मचारी संयुक्त मंच के पदाधिकारियों ने मंगलवार को कमिश्नरी पार्क से नारेबाजी करते हुए कलक्ट्रेट तक प्रदर्शन किया। कर्मचारियों ने अपनी मांगों से संबंधित मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन एडीएम सिटी को सौंपते हुए चेतावनी दी कि दो अप्रैल तक उनकी मांगे नहीं मानी गईं तो फिर आंदोलन के लिए मजबूर होंगे।
वादा अभी तक पूरा नहीं
इस दौरान डिप्लोमा इंजीनियर्स महासंघ के प्रांतीय अध्यक्ष राकेश त्यागी ने कहा कि बिजली कर्मचारियों की हड़ताल ऊर्जा मंत्री ने समझौता कर खत्म करा दी थी। मगर हड़ताल के दौरान की गई कार्रवाई को समाप्त करने का भी ऊर्जा मंत्री ने उप्र पावर कॉरपोरेशन के अध्यक्ष एम देवराज को निर्देश दिया था। लेकिन यह वादा अभी तक पूरा नहीं हुआ है। निविदा-संविदा कर्मचारियों की सेवा समाप्ति, विद्युत कर्मियों के निलंबन व एफआइआर नहीं खत्म की गई है। यदि यह एफआईआर व मुकदमे खत्म नहीं हुुए तो कर्मचारी एक बार फिर पहले जैसा आदोलन करने को मजबूर हो जाएंगे। इसके लिए सरकार को 2 अप्रेल तक का समय दिया गया है।
ये रहे मौजूद
इस दौरान प्रदर्शन करने वालों में दौरान राजेश कुमार ङ्क्षसह, केके भारती, रामेंद्र शर्मा, ब्रिजेश कुमार, कृष्ण गोपाल शर्मा समेत अन्य पदाधिकारी मौजूद रहे।