मेरठ (ब्यूरो)। शहर में आवारा कुत्तों का आतंक चरम पर है। लाख प्रयास के बाद भी निगम इन आवारा कुत्तों पर लगाम नही लगा पा रहा है। हालांकि नसबंदी अभियान भी जोरों पर चल रहा है, बावजूद इसके शहर का कोई ऐसा मोहल्ला नहीं है, जहां आवारा कुत्तों की संख्या दर्जनभर से कम हो। कुछ ऐसा ही हाल खत्ता रोड, गणेश पुरी, मियां मोहम्मद नगर, शकूर नगर, मजिद नगर आदि मोहल्लों का है। जहां आए दिन डॉग बाइट के केस बढ़ रहे हैं। स्थानीय नागरिक सीएम मलिक ने सोशल मीडिया एक्स पर ट्वीट कर इस समस्या के निस्तारण की मांग की है।
पुराने शहर का हाल बदहाल
शहर के पुराने मोहल्लों की गलियों में आवारा कुत्तों का आतंक बहुत अधिक है। इन मोहल्लों में न तो नगर निगम अभियान चलाकर कुत्तों को पकडऩे का प्रयास करता और न ही किसी प्रकार की नसबंदी कराई जा रही है। इसका नतीजा है कि अधिकतर पुराने मोहल्लों की संकरी गलियों में कुत्तों का आंतक लगातार बढ़ता जा रहा है। रात होते ही ये कुत्ते इस कदर खूंखार हो जाते हैं कि गली में लोगों का निकलना दूभर हो जाता है। इस समस्या पर स्थानीय लोगों ने नगर स्वास्थ्य अधिकारी डॉ। हरपाल सिंह को पत्र लिखकर समस्या के निस्तारण मांग की है।
नसबंदी अभियान भी अधूरा
हालांकि लगातार बढ़ रहे कुत्तों के आतंक से निजात दिलाने के लिए नगर निगम ने गत वर्ष आवारा कुत्तों की नसबंदी का अभियान शुरू किया था। इसके लिए शंकर आश्रम में कुत्तों की नसबंदी के लिए ओटी चालू हो चुकी है। नगर निगम की टीम शहर के विभिन्न मोहल्लों में जाकर कुत्तों को पकड़कर शंकर आश्रम ले जाकर उनकी नसबंदी कर रही है। लेकिन यह नसबंदी भी खानापूर्ति महज साबित हो रही है। दरअसल, शहर में करीब 55 से 60 हजार आवारा कुत्तों की नसबंदी के लिए केवल दो टीमें शहर में सक्रिय हैं। एक टीम में 7 से 8 लोग कुत्तों को पकडऩे का काम कर रहे हैं। पिछले तीन माह में करीब 5 हजार के करीब कुत्तों को नसबंदी के लिए पकड़ा जा चुका है।
फैक्ट्स पर एक नजर
55 से 60 हजार करीब आवारा कुत्ते 90 वार्डों में।
80 से 100 डॉग बाइट के शिकार लोग रोजाना मेडिकल और जिला अस्पताल में पहुंचते हैैं।
15 से 20 वॉयल रैबीज की रोजाना होती है इस्तेमाल।
एक वॉयल में पांच लोगों को लगाए जाते हैैं इंजेक्शन।
80 फीसदी लोगों को लगाया जाता है रोजाना रैबीज का इंजेक्शन।
इनका है कहना
खत्ता रोड पर कुत्तों के आंतक के कारण शाम के वक्त लोगों का घर से बाहर निकलना दूभर हो जाता है। नगर निगम में लगातार शिकायत के बाद भी सुनवाई नहीं हो रही है।
साजिद खान
खत्ता रोड, गणेश पुरी, मियां मोहम्मद नगर में कुत्तों को पकडऩे की कवायद तक नहीं की जा रही है। बाकि शहर तो राम भरोसे है। वाहन चालकों के पीछे कुत्ते काटने को भागते हैं, जिससे लोग हादसे का शिकार हो रहे हैैं।
दानिश
हमारे क्षेत्र में नगर निगम की कुत्ता पकडऩे वाली टीम आज तक देखी नहीं गई। अभियान कहां चल रहा है पता नहीं पर हमारे क्षेत्र में कुत्तों की संख्या दिन-ब-दिन बढ़ती ही जा रही है।
मो। हामिद
कुत्तों की नसबंदी हो रही है या नहीं इसका तो नगर निगम को बेहतर पता होगा। लेकिन हमारे क्षेत्र में कुत्ता पकडऩे वाली टीम आज तक नहीं आई है। जबकि यहां कुत्तों की संख्या बढ़ती ही जा रही है।
सानिब
कुत्तों की नसबंदी का काम लगातार किया जा रहा है। इस समस्या के लिए मौके पर टीम को भेजकर कुत्तों को नसबंदी कराई जाएगी। जल्द समस्या दूर होगी।
डॉ। हरपाल सिंह, पशु चिकित्सक एवं कल्याण अधिकारी