लखनऊ (ब्यूरो)। भारी बारिश के बाद सामने आने वाली जलभराव की समस्या से निपटने के लिए ड्रेनेज मैकेनिज्म प्लान पर काम शुरू किया जाएगा साथ ही नालों की ड्रेनिंग कैपेसिटी पर भी फोकस किया जाएगा। यह निर्देश डीएम सूर्यपाल गंगवार की ओर से जारी किए गए हैैं। उन्होंने सोमवार को कई प्रमुख नालों की स्थिति देखी और कई बिंदुओं पर निर्देश दिए।

बैराज से की शुरुआत

डीएम ने गोमती नदी पर बने बैराज से निरीक्षण की शुरुआत की। बैराज पर उपस्थित अधिशासी अभियंता, सिंचाई विभाग द्वारा बताया गया कि वर्तमान में गोमती नदी का जलस्तर बैराज पर 105.65 मीटर है जो कि डेंजर लेवल 109.00 मीटर से नीचे है। जिससे गऊघाट पम्पिंग स्टेशन पर पीने के पानी हेतु आवश्यक जलस्तर मेंटेन किया जा रहा है। डीएम द्वारा निर्देशित किया गया कि बैराज पर लगातार निगरानी रखी जाए एवं जैसे ही क्षेत्र में वर्षा होती है तो वर्षा की गणना के हिसाब से बैराज के गेटों को खोला जाए। जिससे कि शहरी क्षेत्र में जलभराव की स्थिति उत्पन्न न हो। नदी के अपस्ट्रीम में भी होने वाली वर्षा को ध्यान में रखते हुए गेटों के संचालन हेतु एक योजना तैयार कर ली जाये जिससे कि समय से पानी की निकासी की जा सके। उन्होंने निर्देश दिया की अगले एक माह राउंड द क्लॉक मॉनिटरिंग होगी।

कहां कितनी बारिश हो रही

डीएम ने निर्देश दिए कि नगर निगम और सिंचाई विभाग संयुक्त रूप से ड्रेनेज मैकेनिज्म डेवलप करे कि जब बारिश हो रही है तो कहां-कहां हो रही है कितनी हो रही है। सघन रूप से बारिश के वॉल्यूम का आंकलन हर घंटे कराना सुनिश्चित किया जाए। उन्होंने यह भी कहा कि बैराज के गेटों का संचालन यह सुनिश्चित करते हुए किया जाये कि जलभराव की स्थिति न उत्पन्न होने पाये। डीएम द्वारा शहर के विभिन्न क्षेत्रों में जहाँ पर जलभराव की स्थिति उत्पन्न होती है वहां पर निरीक्षण करते हुए खजाना चौराहा से किला मोहम्मदी ड्रेन के विभिन्न स्थलों का निरीक्षण किया गया।

यहां सफाई हुई पूरी

नगर आयुक्त इंद्रजीत सिंह ने बताया कि किला मोहम्मदी ड्रेन के शहरी क्षेत्र के सफाई का कार्य करा दिया गया है एवं सिंचाई विभाग के स्तर से ग्रामीण क्षेत्र में नाले की सफाई का कार्य भी करा दिया गया है साथ ही यह भी अवगत कराया गया कि पानी की शीघ्र निकासी के लिए शारदा नगर योजना के पास एक बड़ी झील को रेगूलेटर के माध्यम से जोड़ दिया गया है, जिससे कि शहरी क्षेत्र के पानी की शीघ्र निकासी करते हुए जलभराव की समस्या से निजात दिलाई जा सकेगी।

अतिरिक्त पंपों की व्यवस्था

निरीक्षण के समय नगर निगम के उपस्थित अधिकारियों को यह भी निर्देशित किया गया कि अतिरिक्त पंपों की व्यवस्था किराये के माध्यम से कर ली जाए, जिससे कि जलभराव की स्थिति उत्पन्न न हो एवं सिंचाई विभाग तथा नगर निगम के अधिकारियों को निर्देशित किया गया कि शहरी क्षेत्र में 24 घंटे टीमों को लगाकर सतत निगरानी की जाये एवं किसी भी स्थल पर जलभराव की स्थिति उत्पन्न न होने पाए।