कानपुर (ब्यूरो) पेचबाग में स्थित गृह संख्या 92/ 9 से 11 तक का क्षेत्र तजम्मुल हुसैन का हाता के नाम से जाना जाता है। इसको सरकार ने 27 अप्रैल 1982 में मलिन बस्ती घोषित कर दिया है। गजट भी जारी कर दिया गया है। इसके बाद न तो जमीन बेची जा सकती है और नहीं रजिस्ट्री हो सकती है। इसके अलावा कोई अवैध निर्माण भी नहीं हो सकता है। मालिकाना हक भी लोगों के पास है। इसके बाद भी बस्ती की जमीन को फर्जी तरीके से कब्जा कर लिया गया। इस बस्ती में विधायक के चाचा के दो मकान हैं और एक चमड़े का गोदाम चला रहा है। इसमें चमड़े की कच्ची खाल रखी जाती है। करोड़ों रुपये की जमीन पर कब्जा सामने आने के बाद खलबली मची हुई है।

चल रही है जांच

नगर निगम ने पहले ही सफाई कर्मचारियों के क्वार्टर की जमीन पर कब्जा करके गैराज व कार्यालय बनाने के मामले में जांच शुरू करा दी है। इस बस्ती में भी सफाई कर्मचारी रहते थे। नगर आयुक्त शिव शरणप्पा जीएन ने बताया कि संपत्ति विभाग से इस जमीन की भी जांच कराई जाएगी। सरकारी जमीन होने के बाद भी कैसे रजिस्ट्री हो गई है इस पूरे प्रकरण की जांच कराई जाएगी।