- 16 मई को होनी है कमिश्नर की अध्यक्षता में आरटीए की अहम मीटिंग
- रोडवेज बसों को घाटे से बचाने के लिए लागू हो सकता है मेरठ फॉर्मूला
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KANPUR। सिटी में प्राइवेट सिटी बस सर्विस पर रोक लग सकती है। मेरठ का फार्मूला यहां भी लागू किया जा सकता है। ताकि रोडवेज विभाग की बसों को घाटे से बचाया जा सके। फिलहाल 16 मई को होने वाली आरटीए की मीटिंग में सिटी के ट्रांसपोर्ट सिस्टम को लेकर कई बड़े मसौदों पर फाइनल मुहर लगनी है।
सरकारी बसों की हालत खस्ता
सिटी बस सर्विस में भी मेरठ फार्मूला लागू हो सकता है। जिसके तहत सिटी में प्राइवेट सिटी बस सर्विस पर रोक लग सकती है। मेरठ में हाल ही में ऐसा कुछ हुआ है। सरकारी सिटी बस सर्विस को चलाने के लिए प्राइवेट सिटी बस सर्विस पर रोक लगाई गई है। सिटी में भी कमोवेश यही स्थिति है। यहां पर भी सरकारी सिटी बसों की स्थिति काफी खराब चल रही है। ज्यादातर पैसेंजर्स प्राइवेट सिटी बसें ही ले जाती हैं।
कैरेज बाई रोड एक्ट पर भी फैसला
आरटीओ के लिए सबसे अहम समस्या ने कैरेज बाई रोड एक्ट पर भी फैसला हो सकता है। दरअसल दिव्यांगों के लिए कैरिज वेहिकल्स को सरकार ने टैक्स फ्री कर दिया था। कैरिज वेहिकल्स खासतौर पर दिव्यांग लोगों के लिए बनते हैं। समस्या ये फंस रही थी कि कोई भी कंपनी ये वाहन नहीं बनाती है, जिसके चलते आरटीओ विभाग इन्हें टैक्स फ्री भी नहीं कर पा रहा था। क्योंकि ज्यादातर कैरिज वाहन बाहर ही असेंबल कराए जाते हैं। जो कि नियमत: गलत है।
कई अन्य प्रस्ताव भी लंबित
इनके अलावा भी कई अन्य ऐसे मामले हैं, जो इस आरटीए की मीटिंग में तय होने हैं। उन्नाव से कानपुर चलने वाले टेम्पो के परमिट पर फैसला होना है। बताते चलें कि सिटी में टेम्पो परमिट पर रोक है लेकिन ये रूट सिटी के बाहर का है। जिस पर विचार किया जा सकता है। वहीं सिटी बसों के नियमतिकरण पर भी विचार किया जाना है।
वर्जन:
16 मई को आरटीए की मीटिंग होनी है। जिसमें कई प्रस्तावों पर बातचीत होगी। इसमें प्राइवेट वाहनों के भविष्य पर भी फैसला किया जाना है।
- वीके सिंह, आरटीओ