- टीचर ने अपनी पत्नी, उन्नाव दफ्तर के दो अकाउंटेट के खिलाफ दर्ज कराया मामला, कोतवाली पुलिस ने शुरू की जांच
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KANPUR : कोर्ट का जाली आदेश जारी कराना बीएसए के दो अकाउंटेंट समेत छह लोगों पर भारी पड़ रहा है। इन सभी के खिलाफ कोतवाली में मुकदमा दर्ज किया गया है। एक शिक्षक ने आरोप लगाया है कि उनकी पत्नी ने भरण पोषण के 90 हजार रुपए बकाया देने का एक झूठा आदेश तैयार कराया। इसके बाद उन्नाव बीएसए कार्यालय में तैनात अकाउंटेंट से साठगांठ करके भुगतान करा लिया। जांच करने पर कोर्ट का आदेश जाली निकला तब शिक्षक ने पत्नी और अकाउंटेंट समेत छह लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई है।
बगैर जांच भुगतान से अकाउंटेंट भी फंसे
सावित्री नगर सनिगवां रोड चकेरी निवासी धीरेंद्र कुमार उन्नाव के एक प्राइमरी स्कूल में प्रधानाध्यापक हैं। धीरेंद्र ने बताया कि 2013 में उन्होंने गायत्री नगर निवासी सुनीता द्विवेदी से शादी की थी। अनबन होने के चलते दोनों अलग हो गए और एक साल बाद पत्नी ने उनके खिलाफ कोर्ट में केस दायर कर दिया था। कोर्ट के आदेश पर पत्नी और बेटी को वह 10 हजार रुपए गुजारा-भत्ता दे रहे हैं। आरोप है कि सुनीता ने अपने पिता, भाई और अन्य की मदद से कोर्ट का एक जाली आदेश 90 हजार रुपए गुजारा-भत्ता पेंडेंसी का आदेश तैयार किया। उन्नाव बीएसए कार्यालय में तैनात सहायक लेखाधिकारी प्रदीप कुमार निगम और मुख्य लेखाधिकारी अरुण कुमार से साठगांठ करके भुगतान भी करवा लिया।
पति-पत्नी की लड़ाई में अकाउंटेंट भी फंसे
उन्नाव बीएसए कार्यालय में तैनात अकाउंटेंट की मानें तो उन्होंने कोर्ट का आदेश देखकर भुगतान जारी कर दिया। उनकी गलती है कि आदेश की तस्दीक नहीं कराई। लेकिन पूरे धोखाधड़ी में कहीं भी उनकी संलिप्तता नहीं है।
जल्द होगी गिरफ्तारी
धीरेंद्र की तहरीर पर कोतवाली पुलिस ने पत्नी सुनीता द्विवेदी, ससुर शशिभूषण तिवारी, साला भानु प्रताप तिवारी, साढू श्याम सुंदर अवस्थी, अकाउंटेंट प्रदीप कुमार निगम और अरुण कुमार के खिलाफ धोखाधड़ी, जाली दस्तावेज तैयार करने समेत अन्य धाराओं में रिपोर्ट दर्ज कराई है। कोतवाली थाना प्रभारी ने बताया कि तहरीर के आधार पर संडे को सभी छह आरोपियों के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कर ली गई है। जल्द ही आरोपियों को गिरफ्तार करके जेल भेजा जाएगा।