कानपुर (ब्यूरो)। बिजली चोरी रोकने के दावों के साथ सिटी में स्मार्ट मीटर लगाए गए थे। ऑफिसर्स का दावा था कि स्मार्ट मीटर में जरा सी छेड़छाड़ करने पर पता लग जाएगा.क्योंकि ये केस्को मुख्यालय में लगे सर्वर से सीधे कनेक्ट है। लेकिन सैटरडे को फहीमाबाद चमनगंज में पांच स्मार्ट मीटर में सील तोड़कर टर्मिनल में एक्स्ट्रा वायर लगाकर बिजली चोरी होती मिली। जिसने केस्को ऑफिसर्स के बड़े-बड़े दावों की पोल खोलकर रख दी है।
एक लाख से अधिक स्मार्ट मीटर
वर्ष 2019-20 में सिटी में स्मार्ट मीटर लगाना शुरू किया था। अब तक 1.28 लाख से अधिक कन्ज्यूमर्स के यहां स्मार्ट मीटर लगाए जा चुके हैं। तत्कालीन केस्को ऑफिसर्स ने दावा किया था कि स्मार्ट मीटर में छेड़छाड़ कर बिजली चोरी नहीं हो सकेगी। इससे बिजली चोरी पर अंकुश लगेगा। इसी वजह से सबसे पहले स्मार्ट मीटर अधिक बिजली चोरी वाले बाबूपुरवा, बिजलीघर परेड, कोपरगंज आलूमंडी व जरीबचौकी डिवीजन में लगाए थे।
चेकिंग में खुली पोल
कम बिजली खर्च को लेकर सैटरडे को केस्को की टेस्ट व डिवीजन की टीम फहीमाबाद कालोनी चमनगंज पहुंची। यहां उसे 5 स्मार्ट मीटर की सील तोड़कर उनमें एक्स्ट्रा वॉयर(शंट) लगाकर बिजली चोरी मिली। इसकी भनक न तो केस्को मुख्यालय के ऑफिसर्स को लगी और न ही डिवीजन इम्प्लाइज को पता चला। केस्को के मीडिया प्रभारी श्रीकांत रंगीला ने कहा कि मीटर के अंदर छेड़छाड़ नहीं की गई, शायद इसी वजह से पता नहीं चल सका। पूरे मामले की जांच हो रही है।