कानपुर (ब्यूरो) जेईई मेंस के परसेंटाइल के आधार पर स्टूडेंट्स सेंट्रल यूनिवर्सिटी, टेक्निकल यूनिवर्सिटी और एनआईटी में बीटेक, बीई और बीआर्क कोर्स में एडमिशन लेते हैैं। इसके अलावा एक तय कट आफ से ज्यादा माक्र्स लाने पर जेईई एडवांस्ड देने का मौका मिलता है, जिसमें पास होने पर आईआईटी में एडमिशन मिल जाता है।
सोशल मीडिया से दूरी ने आसान की राह
भाई संग मिलकर स्टार्टअप शुरू करेंगे
कैलाश नगर जाजमऊ के रहने वाले हाईकोर्ट में बेंच सेक्रेटरी राजेश शुक्ला के छोटे बेटे अर्चित शुक्ला ने 3306 रैंक हासिल की है। मां आराधना शुक्ला सरसौल के परिषदीय विद्यालय में प्राइमरी टीचर हैैं। बताया कि इस एग्जाम पास करने के लिए डेली 8 से 10 घंटे स्टडी की है। साथ ही आईआईटी इंदौर में पढ़ रहे बड़े भाई आयुष से हेल्प ली। अर्चित इंजीनियरिंग करने के बाद अपने बड़े भाई के साथ स्टार्टअप करने का मन बना चुके हैं।
कंप्यूटर सांइस से करेंगी बीटेक
खलासी लाइन स्थित ऐलन हाउस स्कूल से 12वीं का एग्जाम देने वाली वैष्णवी शुक्ला ने जेईई मेन में 99.79 परसेंटाइल के साथ 2472 रैैंक पाई है। वो आईआईटी दिल्ली से कम्प्यूटर साइंस से बीटेक कर इंजीनियर बनकर साफ्टवेयर डेवलपर बनना चाहती हैैं। विष्णुपुरी निवासी वैष्णवी के पिता मुकेश अग्रवाल ऑफिस स्टेशनरी कारोबारी और मां अनामिका हाउस वाइफ हैैं।
पिता एग्रीकल्चर आफिसर बेटा बनेेगा इंजीनियर
डीपीएस कल्याणपुर से 12वीं का एग्जाम देने वाले राज गुप्ता ने 99.66 परसेंटाइल के साथ 3940वीं रैंक पाई है। अब आईआईटी कानपुर से कम्यूटर साइंस में बीटेक कर इंजीनियर बनना चाहते हैं। उनके पिता उमेश कुमार गुप्ता कानपुर देहात में जिला कृषि अधिकारी हैैं।