कानपुर (ब्यूरो)। ट्रेड सब्जेक्ट्स में स्टूडेंट्स को स्किल्ड करने के लिए नेशनल अप्रेंटिसशिप ट्रेनिंग स्कीम (नैट्स) के तहत ट्रेनिंग दी जा रही है। इसके अंतर्गत ट्रेड डिसीप्लिन की पढ़ाई करने वाले स्टूडेंट्स को छह महीने से एक साल तक ऑन जॉब ट्रेनिंग (ओजेटी) के जरिए प्रैक्टिकल ज्ञान देना है। ऐसे में डिप्लोमा, वोकेशनल सर्टिफिकेट और यूजी स्टूडेंट्स को ओजेटी, हैैंड्स ऑन प्रैक्टिस के जरिए खुद को सशक्त बनाना है। कुछ एजुकेशन में तो ओजेटी कंपलसरी है। ऐसे में स्टूडेंट्स को ओजेटी का मौका देने के लिए नैट्स की ओर से नैट्स 2.0 पोर्टल लांच किया गया है। यह पोर्टल स्टूड़ेंट्स को ओजेटी के लिए एम्प्लायर से मिलाएगा।
कई सारी फैसिलिटीज
यूजीसी की ओर से इस पोर्टल को लेकर नोटिस जारी की गई है। यूजीसी के सेक्रेटरी प्रो। मनीष आर जोशी ने हायर एजुकेशन इंस्टीट्यूट्स को जारी नोटिस में कहा कि स्टूडेंट्स को इस पोर्टल में रजिस्टर कराना होगा। यह पोर्टल स्टूडेंट्स को अप्रेंटिसशिप रिलेटेड एक्टिविटी, कैंडीडेट रजिस्ट्रेशन एंड एप्लीकेशन, जॉब वैकेंसी एडवरटाइजमेंट, कांट्रैक्ट क्रिएशन, सर्टिफिकेशन और स्टाइपेंड डिस्ट्रिब्यूशन समेत कई सारी फैसिलिटी देगा। इसमें रजिस्ट्रेशन के लिए ठ्ठड्डह्लह्य.द्गस्रह्वष्ड्डह्लद्बशठ्ठ.द्दश1.द्बठ्ठ पर विजिट करना होगा।
डीबीटी से मिलेगा बेनीफिट
अप्रेंटिसशिप और ओजेटी करने वाले स्टूडेंट्स को अप्रेंटिसशिप बोर्ड की ओर से लागू स्टाइपेंड दिया जाता है। इस पोर्टल में रजिस्टर करने के बाद स्टूडेंट्स को स्टाइपेंड का बेनीफिट, डायरेक्ट बेनीफिट ट्रांसफर (डीबीटी) के जरिए मिलेगा। इसमें स्टूडेंट्स को ओजेटी या अप्रेंटिसशिप का मौका मिलते समय अपनी बैैंक डिटेल को भी बताना होगा, जिसके बाद बैैंक अकाउंट में स्टाइपेंड का पैसा आएगा।
ओजेटी, अप्रेंटिसशिप से बेनीफिट
ट्रेड सब्जेक्ट की पढ़ाई करने वाले स्टूडेंट्स को ओजेटी या अप्रेंटिसशिप में अपने सब्जेक्ट से रिलेटेड इंडस्ट्री में जाना होता है। नियमानुसार ओजेटी का समय छह महीने से लेकर एक साल तक का होता है। इस दौरान स्टूडेंट वहां पर काम करके कामकाज के तरीके को सीखता है। इतना ही नहीं स्टूडेंट्स को इंडस्ट्री मे चल रही मशीनों पर भी काम कराया जाता है। इसका बेनीफिट यह होता है कि स्टूड़ेंट्स इंडस्ट्री के अनुसार काम सीख जाते हैैं, जिसका फायदा उनको प्लेसमेंट के समय पर मिलता है। इसके साथ साथ कुछ स्टूडेेंट्स को इंडस्ट्री जॉब पर भी रख लेती हैैं।
दोनों को भटकना नहीं पड़ेगा
इस पोर्टल से स्टूडेंट्स और एम्प्लायर दोनों को बेनीफिट है। अभी तक ओजेटी या अप्रेंटिसशिप की खोज करने वाले स्टूडेंट्स को एम्प्लायर खोजना पड़ता था। कभी कभी सही एम्प्लायर तक पहुंच न हो पाने से उनको भटकना भी पड़ता था। जबकि अब इस पोर्टल में रजिस्टर होने के बाद स्टूडेंट्स को उसके प्रोफाइल के अनुसार एम्प्लायर शो होने लगेंगे, जिसके बाद वह उसको सिलेक्ट करके अपनी ट्रेनिंग शुरू कर सकता है। इसके अलावा एम्प्लायर को भी ओजेटी के लिए स्टूडेंट्स मिलेंगे जो कि स्किल सीखने के साथ साथ उनकी काम में भी हेल्प करेंगे।