- मेघदूत तिराहे से चुन्नीगंज तिराहे तक नहीं बनेगी स्मार्ट रोड, हैवी ट्रैफिक होने से कानपुराइट्स को झेलनी पड़ती मुसीबत
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KANPUR : स्मार्ट सिटी के तहत बन रही स्मार्ट रोड के सेकेंड फेज को करारा 'झटका' लगा है। अब मेघदूत तिराहे से चुन्नीगंज तिराहे तक स्मार्ट रोड नहीं बनेगी। पहले 2.7 किमी। इस लंबी रोड को 34 करोड़ से बनाया जाना था। दैनिक जागरण-आई नेक्स्ट ने जब इस कार्य के लेट होने के बारे में पड़ताल की तो पता चला कि 17 सितंबर को हुई स्मार्ट सिटी की बोर्ड मीटिंग में इस पर डिसीजन लिया गया। स्मार्ट सिटी के चेयरमैन व कमिश्नर सुभाष चंद्र शर्मा ने इस प्रोजेक्ट को कैंसिल कर दिया, क्योंकि इस रोड पर हैवी ट्रैफिक लोड होने से इसे पूरा करने में काफी परेशानी होगी। कानपुराइट्स को भी मुश्किलों का सामना करना पड़ता।
फर्स्ट फेज में 50 परसेंट काम पूरा
कानपुर स्मार्ट सिटी लिमिटेड में स्मार्ट रोड के लिए 98 करोड़ रुपए का बजट रखा गया है। फर्स्ट फेज में 34 करोड़ रुपए से 2.3 किमी। लंबी फूलबाग से मेघदूत तिराहे तक स्मार्ट रोड बनाने का काम चल रहा है। इसका लगभग 50 परसेंट काम पूरा भी कर लिया गया है। स्मार्ट रोड में इस प्रकार की डक्ट बिछाई जा रही है, जिससे कोई भी लाइन डालने के लिए सड़क को खोदना नहीं पड़ेगा। डक्ट से सभी वायर को गुजारा जा सकेगा।
98 करोड़ से स्मार्ट रोड
कानपुर स्मार्ट सिटी की प्रभारी व सहायक नगर आयुक्त पूजा त्रिपाठी के मुताबिक सिटी में टोटल 8.6 किमी। को स्मार्ट रोड में तब्दील किया जाएगा। इसके लिए 98 करोड़ का बजट स्मार्ट सिटी में रखा गया है। इसके लिए डीपीआर बनाई जा रही है। बोर्ड मीटिंग में मेघदूत तिराहे से चुन्नीगंज तिराहे तक की स्मार्ट रोड को कैंसिल कर दिया गया है। इसकी जगह किसी और रोड को स्मार्ट रोड बनाने के लिए सर्वे शुरू कर दिया गया है।
रात में चमकेंगे टाइल्स
स्मार्ट रोड में बच्चों से लेकर दिव्यांगों तक को हर प्रकार की फैसिलिटी मिलेंगी। रोड के किनारे दिव्यांगों के लिए रैंप बनाए जाएंगे, जिससे दिव्यांगों को सड़क तक आने में कोई असुविधा न हो। इसके अलावा पैदल रास्तों को आकर्षक बनाने के लिए रात में रोशनी पड़ने पर चमकने वाले आधुनिक टाइल्स लगाए जाएंगे।
ग्रीनरी कराएगी 'ठंडक' का अहसास
स्मार्ट सिटी में चंडीगढ़ की तर्ज पर सड़कों के किनारे ग्रीनरी डेवलप की जाएगी। इससे गर्मी के दिनों में भी राहगीरों को ठंडक का अहसास होगा। पेड़ों के लिए बाड़ और छायादार पौधे लगाए जाएंगे। वहीं सड़कों के किनारे डस्टबिन, एलईडी स्ट्रीट पोल, पैदल चलने के लिए रास्ता सहित कई सुविधाएं दी जाएंगी। वहीं स्मार्ट रोड़ का निर्माण करने वाली कंपनी को ही 5 साल तक इसकी मेंटीनेंस भी करनी है।
स्मार्ट रोड में ये फैसेलिटीज
- एलईडी स्ट्रीट पोल
- पैदल रास्तों पर पेविंग
- पेड़ों के लिए बाड़
- संकेतक व साइन बोर्ड
- बेव ऑन रोड
- डस्टबिन
- पोलार्ड
- वॉटर एटीएम
- ले-बाई के साथ मार्ग
-दिव्यांगों के लिए रैंप
- मीडियन
- जस्सी बैरियर्स
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स्मार्ट रोड: आंकड़ों में
-98 करोड़ से पूरा होना है स्मार्ट रोड का प्रोजेक्ट।
-2.3 किमी। रोड फर्स्ट फेज में बनाई जा रही।
-6.3 किमी। रोड सेकेंड फेज में की जानी है स्मार्ट।
-34 करोड़ रुपए से फर्स्ट फेज पूरा किया जा रहा है।
-34.50 करोड़ से शहर की पहली स्मार्ट रोड बन रही।
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स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट: एक नजर में
-2311 करोड़ रुपए है स्मार्ट सिटी का कुल बजट।
-550 करोड़ रुपए सेंट्रल गवर्नमेंट को देना है।
-550 करोड़ रुपए इसमें स्टेट गवर्नमेंट देगी।
-1100 करोड़ शहर के अन्य डिपार्टमेंट्स देंगे।
-53 योजनाओं को स्मार्ट सिटी के तहत पूरा किया जाएगा।
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बोर्ड मीटिंग में मेघदूत से चुन्नीगंज तिराहे तक स्मार्ट रोड बनाने के प्रपोजल को कैंसिल कर दिया गया है। इसकी जगह दूसरी रोड का सेलेक्शन करने के लिए सर्वे शुरू हुआ है।
पूजा त्रिपाठी, प्रभारी स्मार्ट सिटी व सहायक नगर आयुक्त।