कानपुर (ब्यूरो)। साइबर क्रिमिनल्स ने शहर में पहली बार सीसीटीवी कैमरे हैक कर वारदात को अंजाम दिया है। यह खुलासा पुलिस जांच में हुआ है। दरअसल, कुछ दिन पहले नवाबगंज के एक निजी बैैंक में हेल्प लाइन नंबर की जगह हैकर्स ने एक स्लिप चिपका दी थी, जिसके बाद एटीएम कार्ड की ट्रे में स्किमर लगाकर एक दर्जन लोगों से ठगी को अंजाम दिया। जांच में पता चला कि एटीएम के रास्ते के कैमरों में शातिरों के आने और जाने की फुटेज ही नहीं है। हैकर्स ने सॉफ्टवेयर की मदद से ट्रेसिंग पाथ पर लगे कैमरों को हैक कर दिया था। जिससे पुलिस उन्हें पकड़ न सके। ऐसे में पुलिस की मुश्किलें बढ़ गई हैं।
ऐसे वारदात को दिया अंजाम
डीसीपी सेंट्रल ने बताया कि अब तक की जांच में सामने आया है कि हैकर्स को ये जानकारी थी कि एटीएम का कैमरा खराब है। एटीएम के अंदर घुसते ही सबसे पहले ऊपर की तरफ लगे दोनों कैमरों पर टेपिंग की। गार्ड के न होने का फायदा उठाते हुए एटीएम ट्रे में छेड़छाड़ की गई। कोई यूनिट यहां इनसर्ट की गई और फिर हैकर्स ने बैैंक के हेल्पलाइन नंबर की जगह एक नंबर की स्लिप लगा दी। इसके बाद जब पीडि़त रुपये निकालने गए तो मशीन की खराबी की वजह से कार्ड फंस गया। जिसके फंसने पर बूथ में चिपकी स्लिप पर लगे नंबर पर कॉल की और शुरू हो गया ठगी का सिलसिला।
2 मिनट 23 सेकेंड के अंदर
देखते ही देखते एक दर्जन से ज्यादा लोगों को ठगी का शिकार बनाया और ट्रेसिंग पाथ पर लगे कैमरों से सॉफ्टवेयर को हैक कर फरार हो गए। डीसीपी ने बताया कि 2 मिनट 23 सेकेंड के अंदर ही शातिरों ने इस काम को अंजाम दिया, जिसके बाद ट्रैक चालू हो गया। इस बीच की फुटेज न मिलने से परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। डीसीपी ने बताया कि रूट पर आगे लगे कैमरों की जांच टाइमिंग के हिसाब से हो रही है।
रकम वापसी के लिए परेशान हैैं लोग
नवाबगंज थाने में केस दर्ज कराने के बाद चिडिय़ाघर के हेड कीपर विनोद कुमार अपनी रकम वापस लेने के लिए कई महीने से भटक रहे हैैं। वहीं सीनियर सिटीजन नदीम के साथ भी इसी एटीएम से वारदात को अंजाम दिया गया। एक के बाद एक 12 मामले सामने आए जिसमें 20 से 40 हजार रुपये की ठगी हुई। कुल मिलाकर 8 लाख रुपये शातिरों ने अपने कब्जे में कर लिए।
सुरक्षा न होने का हैकर्स उठाते हैैं फायदा
बताते चलें कि शहर के आधे से ज्यादा एटीएम ऐसे हैैं, जहां सिक्योरिटी नहीं रहती है। हैकर्स इसी तरह के एटीएम को अपना निशाना आसानी से बनाते हैैं। दरअसल एटीएम बूथ के अंदर की सुरक्षा की जिम्मेदारी बैैंक मैनेजमेंट की रहती है जबकि बाहर की जिम्मेदारी पुलिस की रहती है। बैैंक मैनेटमेंट बैैंक के लिए तो सिक्योरिटी गार्ड रखता है लेकिन एटीएम के लिए नहीं। वहीं मेंटिनेंस न होने की वजह से मशीन और कैमरे भी ज्यादातर खराब रहते हैैं।
ये हो समझ लें, हैक हो गया कैमरा
1. अजीब सी आवाज आना: यह सबसे अहम संकेतों में से एक है। आपके कमरे से अगर एक अजीब सी अनचाही आवाज आए जो अक्सर नहीं आती तो यह एक अस्पष्ट संकेत है कि आपका सीसीटीवी कैमरा हैक किया गया है।
2. आपकी अनुमति के बिना कैमरे का इधर उधर घूमना: आपकी अनुमति के बिना अगर सीसीटीवी कैमरा घूम रहा है तो इसका मतलब है कि कोई और इसे ऑपरेट कर रहा है।
3. अपडेटेड सेटिंग: कुछ हैकर नहीं चाहेंगे कि आपको पता चले कि वो आपके नेटवर्क में हैं। इसलिए वे चुपचाप आपकी सुरक्षा सेटिंग अपडेट कर देंगे या बदल देंगे। कई बार हैकर आपके कैमरे का नाम भी बदल देते हैं।
4. डाटा का अधिक उपयोग होना: आपका कैमरा पहले से ज्यादा डाटा इस्तेमाल कर रहा है तो यह अस्पष्ट संकेत है कि कैमरा हैक किया गया है।
5. कैमरे की लाइट ऑन रहना: कैमरा के रुश्वष्ठ लाइट ऑन है जबकि आप अपने कैमरे का इस्तेमाल नहीं कर रहे हैं। ये भी एक संकेत है कि कैमरे को हैक किया गया है।
ऐसे रोके कैमरा हैकिंग
1. अगर पासवर्ड प्रोटेक्टेड वाईफाई ना हो तो कोई भी उसे आसानी से हैक कर सकता है। तो ध्यान रखें पासवर्ड प्रोटेक्टेड वाईफाई का इस्तेमाल करें।
2. हमेशा एक ही यूजरनेम और पासवर्ड का उपयोग न करें। हैकर आसानी से पुराने यूजरनेम और पासवर्ड को हैक कर सकते हैं जो लगातार यूज हो रहा हो।
3. एक ऐसे पासवर्ड का इस्तेमाल करें जो मजबूत हो जिसे हैक कर पाना मुश्किल हो। आसान पासवर्ड को हैकर आसानी से हैक कर सकते हैं।
4. हमेशा ह्ल2श-द्घड्डष्ह्लशह्म् ड्डह्वह्लद्धद्गठ्ठह्लद्बष्ड्डह्लद्बशठ्ठ का यूज करें। हैकर अगर आपके नेटवर्क को हैक कर लेते हैं या नेटवर्क को ब्रेक कर लेते हैं तो प्रोटेक्शन का एक और लेयर होता है जो आपके नेटवर्क को प्रोटेक्ट करेगा।
5. अत्याधुनिक सुविधाएं होनी चाहिए इसलिए हमेशा अपने सिक्योरिटी को ऑटो अपडेट पर रखें, पुराने बग्स आपके पूरे सिस्टम को एक्सपोज कर सकते हैं। इसलिए हमेशा अपने सिस्टम को ऑटो अपडेट पर रखें।