कानपुर (ब्यूरो)। सिटी में यूपी गवर्नमेंट की स्किल डेवलपमेंट स्कीम के तहत यूथ को स्किल करने के काम पर ब्रेक लग गया है। फाइनेंशियल ईयर 2024-25 के छह महीने (आधा सेशन) बीतने के बाद भी अभी तक यूपी स्किल डेवलपमेंट मिशन (यूपीएसडीएम) की ओर से टारगेट तय नहीं किया गया है। टारगेट न मिल पाने के कारण सिटी में एक भी सेंटर का इस समय संचालन नहीं हो रहा है। दूसरे शब्दों में कहें तो यूपीएसडीएम की ओर से चलने वाले स्किल डेवलपमेंट ट्रेनिंग सेंटर्स पर इस समय यूथ की स्किल डेवलप नहीं की जा रही हैं।
मार्च में मिलता है टारगेट
यूपीएसडीएम के तहत चलने वाले सेंटर्स के लिए एक अप्रैल से 31 मार्च तक का टारगेट फिक्स किया जाता है। टारगेट को ट्रेड वाइस दिया जाता है। इसके बाद ट्रेनिंग पार्टनर (टीपी) को ट्रेड वाइस टारगेट बांटा जाता है। जिस टीपी को जिस ट्रेड का जिम्मा मिलता है, उसमें वह स्किल डेवलपमेंट की ट्रेनिंग को संचालित करता है। यूपीएसडीएम की ओर से टारगेट न मिल पाने की वजह से जिले के जिम्मेदार अफसर टीपी, टारगेट और ट्रेड के हिसाब से ट्रेनिंग का संचालन नहीं कर पा रहे हैैं।
टागरेट का हो रहा इंतजार
फाइनेंशियल ईयर 2023-24 की बात करें तो जिले में 35 सेंटर संचालित होते थे, जिससे 5769 यूथ को स्किल किया गया है। इन सेंटर्स में अपैरल, ब्यूटी वेलनेस, हेल्थ केयर, आईटी, कम्यूटर और आटोमोटिव समेत कई ट्रेड्स में यूथ को ट्रेनिंग दी गई है। जिम्मेदार अफसरों का कहना है कि ट्रेनिंग कराए जाने का खाका तैयार है। टारगेट मिलते ही ट्रेनिंग शुरू कराई जाएगी।
ट्रेनिंग के बाद प्लेसमेंट कंपलसरी
स्किल डेवलपमेंट की ट्रेनिंग के बाद शासन की गाइडलाइन के अनुसार टीपी को ट्रे्निंग देने के बाद कैंडिडेट का प्लेसमेंट भी कराना होगा। प्लेसमेंट न होने की दशा में टीपी को कैंडिडेट की ट्रेनिंग का पेमेंट नहीं मिलेगा। शासन की गाइडलाइन तो यूथ के फेवर में हैैं लेकिन टारगेट न मिल पाने के कारण न तो यूथ की ट्रेनिंग हो पा रही है न ही प्लेसमेंट। अफसरों का कहना है कि बीते साल में जो भी ट्रेनिंग हुई हैैं, उसके बाद कैंडिडेट का प्लेसमेंट भी हुआ है।
इस बार की तैयारी
यूपीएसडीएम की ओर से जिले को टारगेट भले ही न मिला हो लेकिन जिले के अफसर ट्रेनिंग के लिए तैयार हैैं। इस बार अपैरल की ट्रेनिंग के लिए यूपीटीटीआई से हाथ मिलाने की तैयारी है। इसके अलावा एग्रीकल्चर के लिए सीएसए और अटारी का सहयोग लिया जाना है।