कानपुर(ब्यूरो)। नगर निगम अधिकरियों की लापरवाही से कानपुराइट्स पर हाउस टैक्स का बोझ बढ़ता जा रहा है। नगर निगम उन्हें समय से हाउस टैक्स की नोटिस ही मुहैया नहीं करवाता है। जिससे लोगों को पता नहीं चल पाता कि उन पर कितना टैक्स बकाया है। समस्या को देखते हुए सॉफ्टवेयर को अपडेट किए जाने की तैयारी हो रही है। जिससे लोगों को उनके मोबाइल पर हाउस टैक्स को लेकर अलर्ट भेजा जा सके। जिससे लोगों को समय से जानकारी मिलती रहे और नगर निगम को रेवेन्यू लॉस न हो। सूचना देने के लिए सभी प्रापर्टी ओनर्स का मोबाइल नंबर भी लिया जा रहा है। जल्द ही लोगों को ऑटो अलर्ट मैसेज मिलने लगेंगे।
कमिश्नर से की शिकायत
तहसील सदर में आयोजित समाधान दिवस पर लोगों ने कमिश्नर डॉ। राजशेखर से शिकायत करते हुए कहा कि नगर निगम उन्हें समय से हाउस टैक्स की नोटिस मुहैया नहीं करवाता है। कभी भेजता है तो कभी नहीं। जिससे उनपर टैक्स का बोझ लगातार बढ़ता चला जा रहा है। जिसके बाद कमिश्नर ने नगर आयुक्त को निर्देश दिया कि एक महीने में नोटिस मुहैया करवाई जाए। ताकि लोगों को दिक्कतों का सामना न करना पड़े।
4 लाख से अधिक प्रापर्टी
नगर निगम के आकड़ों के मुताबिक, अलग-अलग जोनों में कुल 404351 प्रापर्टी दर्ज हैं, जो टैक्स के दायरे में आती है, लेकिन नगर निगम टैक्स वसूली के लिए ढीला रवैया अपना रहा है। नगर निगम अधिकारियों के मुताबिक, कानपुराइट्स पर लगभग 200 करोड़ रुपए से ज्यादा हाउस टैक्स बकाया है। अगर ऐसा ही हाल रहा तो नगर निगम को भी काफी नुकसान होने के साथ लोगों की भी परेशान बढ़ रही है। नगर निगम अधिकारियों के मुताबिक, टैक्स वसूली को लेकर जोन वाइज कर अधिकारियों को निर्देश दिया है कि तेजी से बकाया टैक्स की वूसली की जाए।
7 अधिकारी मिले गैर हाजिर
वहीं, शनिवार को तहसील सदर में आयोजित समाधान दिवस में कमिश्नर डॉ। राजशेखर ने औचक निरीक्षण किया। एसडीएम सदर अनुराज जैन तो मौजूद मिले, लेकिन एएसपी, सहायक वन संरक्षक, पीडब्ल्यूडी, नलकूप के इंजीनियर समेत अन्य कई अफसर गैरहाजिर रहे। जिसके बाद अफसरों को कारण बताओ नोटिस जारी कर जवाब तलब किया गया है। साथ ही कमिश्नर ने कहा कि समाधान दिवस पर अफसरों का न आना लापरवाही दर्शाता है, यह बर्दाश्त नहीं किया जा सकता है। अगर कोई भी गैरहाजिर मिलता है तो उसके खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई की जाएगी।
एडमिशन न मिलने पर बरती सख्ती
समाधान दिवस में आरटीई के तहत एडमिशन न मिलने की भी लगभग 25 शिकायतें आई हैं। जिसमें कहा गया कि स्कूलों में आवेदन देने पर अनावश्यक आपत्तियां लगाकर एडमिशन लेने से इन्कार कर दिया जा रहा है। जिसके बाद कमिश्नर ने डीएम को निर्देश दिया कि जितने भी आवेदन हैं, उन सभी को स्कूलवाइज लिस्ट बनाकर अगले 15 दिनों में स्कूल के प्रिंसिपल के साथ मीटिंग की जाए। साथ ही वन-टू-वन इस समस्या का समाधान निकाला जाए। ताकि एडमिशन को लेकर पैरेंट्स को किसी तरह की दिक्कत न हो। कमिश्नर ने अन्य आई शिकायतों का निस्तारण कर एक सप्ताह में रिपोर्ट एसडीएम को भेजे जाने का आदेश दिया है।
जोन वाइज प्रॉपर्टी की संख्या
जोन-1-- 33,781
जोन-2--1,14,578
जोन-3-- 65, 814
जोन-4-- 32,020
जोन-5-- 75,009
जोन-6-- 83,149
कुल----404351