कानपुर (ब्यूरो) रूरवा गांव निवासी 45 वर्षीय शिवपाल कठेरिया ङ्क्षहद सर्विस सेंटर कंपनी के नाम से एक टैंकर में क्लीनर था। 28 जनवरी को ङ्क्षहदुस्तान पेट्रोलियम डिपो से तेल भरवाने के बाद टैंकर गुहांड रोड जालौन गया था। जहां सडक़ दुर्घटना में वह बुरी तरहघायल हो गया था .इसके बाद से वह अस्पताल में भर्ती था। मंगलवार रात को कानपुर के अस्पताल में उसकी मौत हो गई.इसके बाद बुधवार दोपहर परिजन व ग्रामीण शव लेकर डिपो गेट पर पहुंच गए। यहां सामने सडक़ पर शव रख कर हंगामा शुरु कर दिया। मुआवजे की मांग की।
मुआवजे का दिया था आश्वासन
शिवपाल के बड़े बेटे विकास ने बताया कि टैंकर कंपनी के मैनेजर महेश शुक्ला ने मुआवजा देने की बात कही थी लेकिन बाद में मुकर गए.पिता के न रहने से परिवार की आजीविका पर संकट है। मुआवजे की मांग कर सभी नारेबाजी करने लगे। इससे सडक़ पर जाम लग गया और वाहन सवार न निकल सके.गजनेर रायपुर मुख्य मार्ग पर वाहनों को समस्या हुई तो वह दूसरे रास्तों से होकर गुजरे.पत्नी सुशीला व परिजनों का रोकर बुरा हाल था.पामा चौकी इंचार्ज गजेंद्र पाल ङ्क्षसह पहुंचे और किसी तरह से मामला शांत कराया.इसके बाद परिजन सडक़ से हटे और जाम खुल सका। चौकी इंचार्ज ने बताया कि परिवार की मदद कराई जाएगी।