- फार्मा कंपनी ज्वायडस कैडिला की कोरोना वैक्सीन जॉयकोव-डी का फेज थ्री ट्रॉयल शुरू करने की तैयारी, 40 वॉलंटियर्स को दी जाएगी वैक्सीन
- वॉलेंटियर्स का रजिस्ट्रेशन शुरू, कोरोना से बचाव करने वाली वैक्सीनों के ट्रायल का हब बना कानपुर, पूर्व डीजीएमई होंगे इस ट्रॉयल के चीफ गाइड
KANPUR: कोरोना वायरस से लड़ाई में फ्रंट फुट में रहने वाला कानपुर अब इसे बचाने के लिए तैयार की जा रही वैक्सीन के ट्रायल में भी अहम भूमिका निभा रहा है। अभी तक देशी और रूसी कोरोना वैक्सीन के ट्रॉयल कर रहे इस शहर में अब एक और बड़ी फार्मा कंपनी अपनी कोरोना वैक्सीन का ट्रायल करेगी। दिग्गज फार्मा कंपनी की वैक्सीन के फेज थ्री ट्रायल को डीजीसीआई ने भी मंजूरी दे दी है। कानपुर में इस वैक्सीन का ट्रायल 40 वॉलंटियर्स पर किया जाएगा। इसके लिए वॉलंटियर्स के रजिस्ट्रेशन का प्रोसेस भी शुरू हो गया है।
एक ही जगह दो वैक्सीन का ट्रायल
कोरोना वायरस से बचाने वाली दूसरी वैक्सीन का ट्रायल भी आर्य नगर स्थित प्रखर हॉस्पिटल में ही होने जा रहा है। इस कंपनी के वैक्सीन के ट्रायल में पूर्व डीजीएमई व सीनियर पीडियाट्रिशियन डॉ.वीएन त्रिपाठी चीफ गाइड होंगे। इस हॉस्पिटल में पहले ही कोवैक्सीन के फेज-3 के ट्रॉयल चल रहा है। जिसमें अब तक 200 से ज्यादा वालंटियर्स को वैक्सीन लगाई जा चुकी है। डॉ.वीएन त्रिपाठी बताते हैं वैक्सीन के ट्रॉयल को लेकर तैयारियां शुरू कर दी गई है। वॉलंटियर्स के लिए रजिस्ट्रेशन कर रहे हैं। वैक्सीन को रखने के लिए कोल्ड चेन पहले से ही अस्पताल में हैं। बताते हैं कि इस जॉयकोव-डी वैक्सीन के फेज-2 ट्रॉयल भी कानपुर में ही हो चुके हैं। हांलाकि इसे लेकर ज्यादा जानकारी अभी तक सामने नहीें आई है।
वैक्सीन ट्रायल का स्टेटस
1.भारत बायोटेक कोवैक्सीन- फेज-3 ट्रायल- 1 हजार लोगों पर ट्रॉयल 200 से ज्यादा को लग चुकी वैक्सीन
2.रूसी वैक्सीन स्पूतनिक वी- फेज-2 ट्रायल- 20 वॉलंटियर्स पर ट्रायल 13 को लगाई जा चुकी वैक्सीन
3.जॉयकोव-डी - फेज-3 ट्रॉयल- 40 वॉलंटियर्स पर ट्रायल- रजिस्ट्रेश्ान शुरू
कोरोना से लड़ाई में कानपुर 'आत्मनिर्भर'
कोरोना वायरस को लेकर मार्च में लॉकडाउन लगाया गया था। तब सिटी में सिर्फ एक कंपनी एन-95 मास्क बनाती थी। पीपीई किट, सेनेटाइजर भी यहां नहीं बनता था। पूरे शहर में वेंटीलेटर्स की संख्या महज 127 थी, लेकिन लॉकडाउन के बाद सिटी की आर्डिनेंस फैक्ट्रीज ने सेनेटाइजर से लेकर पीपीई किट बनाना शुरू किया। जिसकी पूरे देश में सप्लाई हुई। इसके अलावा मास्क बनाने की भी फैक्ट्रियां शुरू हुईं। आईआईटी कानपुर की इंनक्यूबेटेड कंपनी में बने स्वासा मास्क का प्रयोग प्रधानमंत्री से लेकर कई नामी शख्सियतें कर रही हैं। वहीं पोर्टेबल वेंटीलेटर्स तैयार करने में भी आईआईटी की ही एक इनक्यूबेटेड कंपनी ने बड़ी सफलता पाई। 100 से ज्यादा वेंटीलेटर्स लेवल-3 के एलएलआर हॉस्पिटल में ही हैं। इसके अलावा कांशीराम अस्पताल में भी 40 बेड का आईसीयू चल रहा है। वहीं अब कोरोना से बचाने वाली वैक्सीन के ट्रॉयल में भी कानपुर अहम भूमिका निभा रहा है।