-पहली बार लगा यूपी जूनियर कबड्डी टीम का कैंप
-मैट पर होगा नेशनल कॉम्प्टीशन, मिट्टी पर लगा कैंप
GORAKHPUR: केरल के कसारगोड में कबड्डी की जूनियर नेशनल चैंपियनशिप होने वाली है। इसमें विजेता बनने के लिए यूपी की टीम ने भी तैयारी शुरू कर दी है। इस बार नेशनल चैंपियन बनने की शुरुआत गोरखपुर से होगी। पहली बार गोरखपुर के रीजनल स्पोर्ट्स स्टेडियम में यूपी की जूनियर ब्वॉयज और गर्ल्स दोनों टीम का कैंप लगा है। उन्हें ट्रेनिंग देने यूपी टीम के कोच भी आए हैं। ख्ख् दिसंबर तक चलने वाले इस कैंप के बाद ख्फ् दिसंबर को यूपी टीम का सेलेक्शन होगा।
गर्ल्स का जलवा, ब्वॉयज गायब
केरल में होने वाले जूनियर नेशनल कबड्डी चैंपियनशिप के लिए लगे यूपी टीम के कैंप में स्टेट कॉम्प्टीशन में शानदार प्रदर्शन करने वाले खिलाडि़यों का सेलेक्शन किया गया है। गर्ल्स में जहां गोरखपुर का जलवा है, वहीं ब्वॉयज में मेजबान का खाता तक नहीं खुला है। जिला कबड्डी संघ के सेक्रेटरी प्रभात कुमार पांडेय ने बताया कि गर्ल्स कैंप में भ् खिलाड़ी गोरखपुर से, फ् खिलाड़ी वाराणसी से, फ् खिलाड़ी सहारनपुर से, ख् खिलाड़ी मेरठ से, एक खिलाड़ी इलाहाबाद और एक खिलाड़ी लखनऊ की है। टीम के कोच सत्येंद्र कुमार और पूनम यादव हैं। वहीं ब्वॉयज कैंप में म् खिलाड़ी वाराणसी, फ् खिलाड़ी मेरठ, फ् खिलाड़ी फैजाबाद और फ् खिलाड़ी सहारनपुर के हैं। टीम के कोच एशियाड गोल्ड मेडलिस्ट किरन पाल सिंह हैं।
मैट के लिए मिट्टी पर प्रैक्टिस
नेशनल कॉम्प्टीशन मैट पर होता है। जिसकी तैयारी गोरखपुर में यूपी टीम कर रही है। मगर ये तैयारी मैट के बजाए मिट्टी पर हो रही है। कबड्डी के एक्सपर्ट मानते हैं कि पहले यह गेम मिट्टी का था, मगर अब यह मैट पर खेला जाता है। मिट्टी पर खेलने वाले खिलाड़ी की परफॉर्मेस मैट पर उतरते ही ख्0 परसेंट तक डाउन हो जाती है। इससे कई बार खिलाड़ी अपना नेचुरल गेम नहीं खेल पाते हैं और मेडल के चांस कम हो जाते हैं।
नेशनल के लिए जूनियर यूपी टीम का कैंप गोरखपुर में लगा है। कैंप के क्भ् खिलाडि़यों में से ही क्ख् ख्रिलाड़ी का सेलेक्शन होगा। वैसे ये कैंप मैट पर ही लगना चाहिए। मगर मैट न होने के कारण मिट्टी पर लगाया गया है। मिट्टी और मैट की परफॉर्मेस में थोड़ा अंतर जरूर आता है। मगर मजबूरन कैंप मिट्टी पर लगाया गया है।
राजेश कुमार, सेक्रेटरी उप्र कबड्डी संघ