- कोरोना इफेक्ट से इकॉनमी पर पड़ेगा असर
- स्टूडेंट ना हो निराश, ढेरों ऑप्शन हैं उनके पास
GORAKHPUR: कोविड-19 से लड़कर जीत मिले इसके लिए लॉकडाउन की डेट बढ़ाकर तीन मई कर दी गई है। कोरोना इफेक्ट आने वाले दिनों में देश की इकॉनमी पर भी पड़ेगा। वहीं पीएम नरेंद्र मोदी ने बोला है कि आने वाले दिनों में एक नया इंडिया देखने को मिलेगा। हो ना हो इस साल पढ़ाई पूरी कर चुके स्टूडेंट्स जॉब को लेकर काफी हताश होंगे। लेकिन उन्हें हताश होने की जरूरत नहीं है। स्टूडेंट्स के पास रोजगार और स्वरोजगार दोनों में ही ढेरों ऑप्शन हैं। आइए जानते हैं इस पर एक्सपर्ट्स की राय।
जॉब करना चाहते हैं गोरखपुराइट्स
एक्सपर्ट्स के अनुसार गोरखपुर में हर साल 60 हजार से अधिक स्टूडेंट्स ग्रेजुएशन कंप्लीट करते हैं। इसके बाद बीटेक, एमबीए और बीएड के स्टूडेंट्स की संख्या होती है। पूर्वाचल के यंगस्टर्स में देखा गया है कि वे जॉब के लिए अधिक इंट्रेस्टेड होते हैं। इसी के अनुसार अपनी तैयारी करते हैं। इसका एक रीजन ये भी है कि ज्यादातर स्टूडेंट बिजनेस या स्वरोजगार से इसलिए भागते हैं कि उनकी आर्थिक स्थिति इतनी अच्छी नहीं होती कि वे इसे कर पाएं।
गोरखपुर में प्रिपरेशन के लिए आते स्टूडेंट - 1 लाख
हर साल निकलते हैं ग्रेजुएट- 50-60 हजार
बीएड स्टूडेंट - 15-20 हजार
बीटेक स्टूडेंट - 5 हजार से अधिक
एमबीए स्टूडेंट - 4 हजार से अधिक
दो साल के अंदर टीचर सीटें भरनी हैं - 1.40 लाख
कोट्स
बीटेक और एमटेक फ्रेशर्स के लिए आने वाले दिनों में बहुत बड़ी अपॉरच्युनिटी आ रही है। बडी इंडस्ट्रीज को भी अपनी अर्थव्यवस्था सुधारनी है। इसके लिए वे अधिक से अधिक फ्रेशर्स को रिक्रूट करेंगे। वहीं कंपनियों में बैठे अधिक सैलरी वाले इंप्लॉइज के लिए जरूर खतरे की घंटी रहेगी। क्योंकि किसी एक की सैलरी में इंडस्ट्रीज चार इंप्लॉई रख सकती हैं। फ्रेशर कम सैलरी में आ जाएंगे और तीन महीने ट्रेनिंग देकर उन्हें परफेक्ट बनाया जा सकता है। युथ को भी ये ध्यान देने की जरूरत है कि वे अधिक पैसे के पीछे ना भागें। वहीं ग्रेज्युएशन वाले स्टूडेंट्स को छोटे-छोटे लघु उद्योगों से जुड़कर कुछ ना कुछ करने की जरूरत है। इसके लिए बैंक भी मदद कर रहे हैं। आने वाले दिनों में नया इंडिया दिखेगा। इंडिया और चाइना आने वाले दिनों में डॉमिनेट करेंगे। यूरोपियन कंट्रीज और अमेरिका को अभी संभलने में बहुत वक्त लगेगा।
पुनेंदु शुक्ला, कॅरियर काउंसलर
कोरोना इफेक्ट तो आने वाले समय में जरूर दिखेगा। युवाओं को भी संभलकर ही कदम आगे बढ़ाना होगा। स्वरोजगार अच्छा ऑप्शन हो सकता है लेकिन कोई भी नया काम शुरू करने के बाद उसे चलने में थोड़ा वक्त लगता है। मार्केट में उन्हें चैलेंज भी मिलेंगे जो पहले से बाजार में अपनी धमक जमा चुके हैं। इसलिए स्वरोजगार भी क्रिएटिव और हटकर हो जिससे पब्लिक भी अट्रेक्ट हो तो इस स्थिति में इसका रिजल्ट जल्द मिल सकता है। इसलिए किसी भी बिजनेस को शुरू करने से पहले इन पहलुओं पर जरूर ध्यान देना चाहिए कि मार्केट में उसकी स्थिति क्या है। खेती भी बेस्ट ऑप्शन हो सकती है।
करुणाकर राम, हेड ऑफ डिपार्टमेंट, अर्थशास्त्र, डीडीयूजीयू
लॉकडाउन के बीच नौकरियों को लेकर लोगों की टेंशन बढ़ गई है। इस समय स्टूडेंट्स का संयम से काम लेना होगा। गवर्नमेंट ने युवाओं को देखते हुए ये निर्णय लिया है कि लॉकडाउन के बाद बहुत जल्द विभिन्न सरकारी पदों में भर्तियां शुरू हो जाएंगी। लेखपाल के 52000 पद और यूपीएसआई की 8700 से अधिक सीटों पर भी भर्ती प्रक्रिया शुरू हो जाएगी। बैंक में 35000 वेकेंसी आएंगी। रेलवे एनटीपीसी में भी करीब 35208 हजार वेकेंसी के लिए फॉर्म भी भरे जा रहे हैं। रेलवे ग्रुप डी की 62 हजार वेकेंसी के लिए भी लाखों कैंडिडेट्स ने फॉर्म भरे हैं जिसका एग्जाम लॉकडाउन के बाद होगा। यूपी अधिनस्थ सेवा आयोग की भर्तियों की जिम्मेदारी दी गई है। राजस्व परिषद ने आयोग को इस संबंध में भर्ती के लिए प्रस्ताव भेज दिया है।
- राहुल राव, कॅरियर काउंसलर