- मारपीट के बाद सतर्क हुए अफसर

- जेल में अलाव को लेकर भिड़े थे बंदी

द्दह्रक्त्रन्य॥क्कक्त्र : मंडलीय कारागार में बंदियों के बीच मारपीट को लेकर जेल प्रशासन काफी सतर्क रहा। मंडे को बंदियों की कड़ी निगरानी की गई। जेल प्रशासन का कहना है कि बंदियों को कड़ी हिदायत दी गई है। मारपीट की घटनाएं सामने आने पर बंदियों को दूसरी जगहों पर शिफ्ट किया जा सकता है। मारपीट के मामले में पुलिस को सूचना भी नहीं दी गई।

बैरक की जांच के दौरान हुई थी मारपीट

मथुरा में गैंगवार के बाद गोरखपुर जेल में बैरक की सघन जांच की गई। जेल के अफसरों ने सुबह 11 बजे से चेकिंग शुरू कर दी। एक नंबर बैरक से लेकर आठ नंबर तक तलाशी हुई। बैरक नंबर आठ के बंदी भोला राय और राम बचन बैरक नौ में चले गए। नौ नंबर में मौजूद गुड्डू से कहासुनी होने पर मारपीट हो गई। भोला राय और राम बचन ने गुड्डू की पिटाई कर दी। गुड्डू को जेल हास्पिटल में एडमिट कराना पड़ा। मारपीट को लेकर अफसर सतर्क हो गए हैं। लखनऊ से घटना की पूछताछ होने पर बंदियों को कड़ी हिदायत दी गई। जेल प्रशासन ने साफ कर दिया कि कोई भी गलती भारी पड़ेगी। मारपीट या किसी अन्य गंभीर घटना के बाद संबंधित बंदी को दूसरी जगहों पर शिफ्ट कर दिया जाएगा। अफसरों का कहना है कि बेलगाम बंदियों पर शिकंजा कसा गया है।

बंद हुई वीडियोग्राफी, जुटने लगी संदिग्धों की भीड़

बंदियों से मिलने वालों की वीडियोग्राफी शुरू कराई गई। डिप्टी जेलर के घर में घुसकर लूटपाट की घटना के बाद सुरक्षा बढ़ा दी गई। जेल पुलिस चौकी पर संदिग्ध युवकों का जमावड़ा कम हो गया, लेकिन कुछ दिनों के बाद यह व्यवस्था बंद हो गई। इससे दोबारा संदिग्धों का जमावड़ा लगने लगा है। शाहपुर पुलिस इसको लेकर गंभीर नहीं हो रही है।

बंदियों की कड़ी निगरानी की जा रही है। बंदियों के बीच कोई ऐसी बात नहीं हुई। किसी बंदी का किसी गैंग से कोई संबंध नहीं। सभी अलग-अलग घटनाओं में बंद हैं।

एसके शर्मा, वरिष्ठ जेल अधीक्षक