-रीजनल स्पोर्ट्स स्टेडियम में पुराने हाल का चल रहा मरम्मत कार्य
-हाल में प्रैक्टिस कराने को सात गेम आमने-सामने
GORAKHPUR: हाल एक और दावेदार सात। यह हाल है रीजनल स्पोर्ट्स स्टेडियम का। जहां खंडहर पड़े पुराने रेसलिंग हाल की रिपेयरिंग का कार्य चल रहा है। एक ओर जहां खंडहर का रूप ले चुका हाल एक बार फिर चमचमाने और खिलाडि़यों के टैलेंट को परखने के लिए तैयार हो रहा है, वहीं दूसरी ओर स्टेडियम के कोच और स्पोर्ट्स एसोसिएशन के बीच आपसी जंग छिड़ी हुई है। इस हाल को अपना बनाने के लिए 6 गेम के खिलाड़ी निरंतर प्रयास कर रहे हैं जबकि अधिकारी इसे जिम बनाने के मूड में हैं। हालांकि अभी यह हाल किस गेम के पाले में जाएगा, यह कहना मुश्किल है।
सभी इनडोर गेम लगे जुगाड़ में
समय के साथ खेल का स्वरूप काफी चेंज हुआ है। मिट्टी और खुले आसमान में होने वाले अनेक गेम अब मैट पर और इनडोर खेले जा रहे हैं। इन गेम के नेशनल टूर्नामेंट तो नियम के मुताबिक होते हैं, मगर प्रैक्टिस अभी भी वह पुराने चलन के मुताबिक हो रही है। चेंज हुए इन गेम के स्वरूप में कबड्डी, जूडो, जिम्नास्टिक, बैडमिंटन, पॉवरलिफ्टिंग है। ये सभी इनडोर गेम इस हाल को अपना बनाने में जुटे हैं। वहीं इस हाल में पहले रेसलिंग की प्रैक्टिस होती थी। हॉस्टल के साथ कैंप में अधिक स्टूडेंट्स होने के कारण कोच यहां दोबारा रेसलिंग की ही प्रैक्टिस शुरू कराना चाहते हैं। मतलब इस हाल में कबड्डी, जूडो, जिम्नास्टिक, पॉवरलिफ्टिंग, बॉक्सिंग, रेसलिंग की प्रैक्टिस होगी या फिर सभी खिलाड़ी मल्टीपरपज जिम में एक्सरसाइज करेंगे, यह कहना अभी मुश्किल होगा।
मेडल के लिए जरूरी है हाल
सभी गेम के खिलाडि़यों, कोच और एसोसिएशन के मेंबर्स का मानना है कि मेडल के लिए ये हाल मिलना जरूरी है। जिला कबड्डी संघ के मेंबर्स का कहना है कि कबड्डी अब इनडोर गेम है। ये हाल कबड्डी को मिलना चाहिए। वहीं जूडो और बॉक्सिंग के खिलाड़ी अपनी परफॉर्मेस को बेहतर बनाने के लिए इस हाल की डिमांड कर रहे हैं। जबकि खेल के अधिकारियों का मानना है कि इस हाल में जिम्नास्टिक को शिफ्ट किया जाए या फिर मल्टीपरपज जिम बनाया जाए। जबकि रेसलिंग के खिलाड़ी इसे दोबारा प्रैक्टिस हाल बनाना चाहते हैं।
स्टेडियम में ऑफिस के बगल में पुराना रेसलिंग हाल है। जो काफी पुराना है। नए हाल बनने के बाद से वह बंद पड़ा था। उस हाल में रिपेयरिंग वर्क चल रहा है। कई गेम के कोच, खिलाड़ी और एसोसिएशन मेंबर उसे लेना चाहते हैं। हाल ठीक होने के बाद उसे जरूरत के मुताबिक किसी एक गेम के सुपुर्द सौंपा जाएगा।
अश्विनी कुमार सिंह, रीजनल स्पोर्ट्स अफसर