- नौ सूत्रीय मांगों को लेकर बिजली विभाग के कर्मचारियों ने दिया धरना

- सभी ऑफिस में रहा बंद जैसा माहौल, समस्याएं नहीं हो सकी दूर

GORAKHPUR: कर्मचारियों की मांग पूरा न करने का नुकसान बिजली विभाग सहित पब्लिक भी भुगत रही है। मंगलवार को महानगर विद्युत वितरण निगम के सभी कर्मचारी विद्युत कर्मचारी मोर्चा संगठन के बैनर तले अपनी मांगों को लेकर चीफ ऑफिस मोहद्दीपुर पर एक दिवसीय धरने पर बैठ गए। कर्मचारियों का कहना था कि अधिकारियों को धरना देकर चेतावनी दी जा रही है। अगर मांगें पूरी नहीं हुई तो कार्य बहिष्कार किया जाएगा। इस दौरान बिजली ऑफिस में सभी कार्य लगभग ठप रहे। बिल सही करने, कनेक्शन जैसे महत्वपूर्ण कार्यो के लिए लोगों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ा।

15 हजार कंज्यूमर्स गए झेल

बिजली विभाग में तीन डिविजन और छह एसडीओ ऑफिस हैं। इन जगहों पर बाबूओं की तैनाती की गई है। यह बाबू उस एरिया में होने वाली कंज्यूमर्स के बिल और कनेक्शन संबंधी प्रॉब्लम को दूर करते हैं। इन तीनों डिविजन और छह एसडीओ ऑफिस को मिलाकर डेली कम से कम 15 हजार कंज्यूमर्स अपनी प्रॉब्लम के संबंध में पहुंचते हैं। इसमें सबसे ज्यादा लोग शास्त्री चौक और बक्शीपुर डिविजन ऑफिस में पहुंचते हैं। मंगलवार को हुई हड़ताल के कारण इन सभी जगहों पर पब्लिक काफी परेशान रही। सबसे ज्यादा दिक्कत बिल सही कराने पहुंचे कंज्यूमर्स को हुई।

मांगें मनवाने पर अड़े

जोन अध्यक्ष एमपी त्रिपाठी ने कहा कि अभी यह चेतावनी है। अगर मांगें नहीं मानी गईं तो कर्मचारी आंदोलन के लिए बाध्य होंगे। उन्होंने बताया कि दूसरा चरण 20 अक्टूबर को लखनऊ में भूख हड़ताल होगा। 21 अक्टूबर को बलिदानी जत्था का धरना होगा और उसके बाद 23 अक्टूबर के मुख्यमंत्री का घेराव किया जाएगा। धरना प्रदर्शन में वीपी सिंह, राहुल श्रीवास्तव, आमोद भास्कर, संजय श्रीवास्तव, विनय विश्वकर्मा, उपेंद्र पाल, कुलदीप श्रीवास्तव आदि मौजूद थे।

यह कार्य हुए प्रभावित

- बिल रिवाइज

- रिवाइज बिल की डाटा एंट्री

- मीटर नंबर की डाटा एंट्री

- गड़बड़ बिल का अप्लीकेशन नहीं लिया गया

- नए कनेक्शन नहीं जारी हुए

- पुराने कनेक्शन का नाम ट्रांसफर ना होना

- परमानेंट डिस्कनेक्शन नहीं हो सके।

- अस्थायी कनेक्शन ना जारी होना

कॉलिंग

बहुत अधिक परेशानी हुई। सुबह 11 बजे जैसे ही अपने बिल का कागज लेकर ऑफिस पहुंचा, पता चला कि कर्मचारी धरने पर हैं। अचानक कर्मचारियों के धरने पर चले जाने के कारण पब्लिक को परेशानी का सामना करना पड़ गया।

- राजेश कुमार सिंह, सर्विसमैन

सरकारी विभाग के कर्मचारी एक तो कभी कार्य समय से नहीं करते हैं और जैसे ही मौका मिलता है, हड़ताल पर चले जाते हैं। कर्मचारियों की इस हड़ताल के कारण पब्लिक को परेशानी होती है।

मनोज सिंह, व्यापारी