- इलेक्शन के प्रेशर में वीआईपी ड्यूटी
- राज्यपाल और सीएम के प्रोग्राम से उड़ी नींद
द्दह्रक्त्रन्य॥क्कक्त्र:
पंचायत चुनाव के प्रेशर में वीआईपी ड्यूटी से पुलिस हांफने लगी है। ग्राम प्रधान और सदस्यों के चुनाव का पहला चरण निपटा चुकी पुलिस के सामने बड़ी चुनौती खड़ी है। आने वाले तीन दिनों में गोरखपुर पुलिस की कड़ी परीक्षा होगी। पुलिस अधिकारियों का कहना है कि चुनाव के साथ-साथ वीआईपी सुरक्षा की ड्यूटी का प्रेशर बढ़ गया है।
राज्यपाल के बाद आएंगे सीएम
जिले में जहां एक दिसम्बर को दूसरे चरण का चुनाव होगा। वहीं 30 नवंबर को राज्यपाल का प्रोग्राम है। राज्यपाल के प्रोग्राम से खाली होते ही पुलिस कर्मचारी एक दिसम्बर को होने वाले चुनाव के लिए पोलिंग स्टेशन पर रवाना हो जाएंगे। एक दिसंबर को चुनाव से लौटते ही पुलिस कर्मचारियों को सीएम अखिलेश सिंह यादव के प्रोग्राम के लिए कमर कसना होगा। चुनाव से लौटते ही पुलिस कर्मचारी वीआईपी ड्यूटी के निर्धारित स्थलों पर पहुंच जाएंगे। इस वजह से पुलिस कर्मचारियों को आराम करने का तनिक मौका नहीं मिलेगा।
इलेक्शन बाद होगा काम
चुनाव और वीआईपी ड्यूटी के फेर में पुलिस उलझकर रह गई है। जिले में कानून व्यवस्था को लेकर भी पुलिस परेशान चल रही है। पुलिस अधिकारियों का कहना है कि चुनाव, वीआईपी ड्यूटी के साथ-साथ अपराध पर लगाम कसने की जिम्मेदारी भी है। ड्यूटी की व्यस्तता की वजह से पुराने मामलों के खुलासे में समय लगेगा। इलेक्शन के बाद ही इन पर काम कर पाना संभव होगा। उधर पिपराइच एरिया के जंगल छत्रधारी में कच्ची शराब से मौत के बाद अभियान भी शुरू हो गया है। आलम यह है कि चुनाव में थके पुलिस कर्मचारी कच्ची कारोबारियों पर कार्रवाई से कतराने लगे हैं।
पुलिस के व्यस्तता के तीन दिन
30 नवंबर : राज्यपाल राम नाईक का प्रोग्राम
01 दिसंबर : जिले में दूसरे चरण का पंचायत चुनाव
02 दिसंबर : मुख्यमंत्री अखिलेश सिंह यादव का प्रोग्राम
चुनाव को लेकर फोर्स मुस्तैद है। पहले चरण में हुए बवाल को देखते हुए अतिरिक्त फोर्स मांगी गई है। इस बीच वीआईपी ड्यूटी का प्रेशर जरूर रहेगा, लेकिन इसको लेकर पूरी तैयारी की गई है।
ब्रजेश सिंह, एसपी ग्रामीण