- 500 व एक हजार के नोट नहीं चलने के कारण हो रही प्रॉब्लम
- जिला व महिला अस्पताल में घट गई है मरीजों की संख्या
GORAKHPUR: अचानक 500 और 1000 के नोट बंद किए जाने का असर हर तरफ दिखाई दे रहा है। यहां तक कि अस्पतालों के ओपीडी में मरीज तक कम हो गए हैं। लोग बीमार तो हैं लेकिन छुट्टा पैसे या नए नोट नहीं होने के कारण वे अस्पताल नहीं जा रहे। जो अस्पताल जा रहे हैं, उन्हें भी जांच कराने वगैरह में भारी परेशानी हो रही है। जांच काउंटर पर छुट्टे पैसे के लिए नोक-झोंक हो रही है। मरीजों को मारामारी है।
फुटकर की किल्लत
जिला व महिला अस्पताल में हर रोज ओपीडी में 400 से 500 मरीज पहुंच रहे थे। जब से बड़े नोट बंद किए जाने की घोषणा हुई है, मरीजों की संख्या 100 से 150 हो गई है। मरीज बड़े नोट लेकर अस्पताल के काउंटर पर पहुंच रहे हैं तो उन्हें पर्ची कटवाने में परेशानी हो रही है। यही हाल मेडिकल कॉलेज का भी है। फुटकर के दिक्कत बीमारी की दिक्कत पर भारी पड़ने लगी है। लोग सोच रहे हैं कि यह संकट टल जाए तभी इलाज कराएंगे।