गोरखपुर (ब्यूरो)।दूरदराज से आने वाले टूरिस्ट के लिए साइन बोर्ड तक नहीं हैं, ताकि वे आराम से अपने टूरिस्ट स्पॉट तक पहुंच सकें। जबकि टूरिज्म डिपार्टमेंट की तरफ से पिछले दो साल से इनकी तैनाती के दावे किए जा रहे हैैं।
फस्र्ट फेज में बनाई गई थीं 12 टीमें
बता दें, गोरखपुर में नौकायन, गोरखनाथ मंदिर पर पब्लिक मूवमेंट बढ़ा है और चिडिय़ाघर में वन्यजीव प्रेमी बढ़े हैं। ऐसे में पर्यटक भटके नहीं। इसके लिए टूर गाइड और पर्यटक पुलिस की तैनाती की जाएगी। दरअसल, 2018 में सीएम योगी आदित्यनाथ की मौजूदगी में पर्यटन पुलिस के गठन की औपचारिकता पूरी की गई थी। फस्र्ट फेज में 12 टीमें बनाई गई थीं। सीएम ने ही गोरखनाथ मंदिर से हरी झंडी दिखाकर पर्यटन पुलिस को रवाना किया था। अब पुलिस हर पर्यटन स्थल पर नजर आएगी, लेकिन इसमें यूपी पुलिस के उन तेज तर्रार सिपाहियों को रखे जाने की बात कही गई थी, जिन्हें हिंदी, अंग्रेजी के साथ ही कई विदेशी भाषाओं की जानकारी हो, लेकिन पर्यटक पुलिस की आज तक तैनाती नहीं हो सकी। टूरिज्म डिपार्टमेंट की तरफ से पर्यटक पुलिस शहर के हर प्रमुख पर्यटन स्थल पर मौजूद रहेगी। इसके लिए दावे किए गए थे। उनके पास फ्लाइट, ट्रेन, बस और पर्यटन स्थलों की पूरी जानकारी होगी। लेकिन यह सबकुछ फाइलों में बंद हो गया।
सन - इंडियन - फॉरेन - टोटल
2016 - 23,46,121- 35,638 - 23,81,759
2017 - 24,05,705 - 36,249 - 24,41,949
2018 - 27,53,546 - 38,715 - 27,92,261
2019 - 30,09,033 - 42,010 - 30,51,043
2020 - 14,68,390 - 8,909 - 14,77,299
2021 - 9,41,647 - 1,378 - 9,43,025
2022 - 13,40,387 - 15,029 - 13,55,416
2023 - 17,265 - 365 - 17,630
पर्यटक पुलिस व टूरिस्ट गाइड के तैनाती के लिए शासन स्तर पर जब तक हरी झंडी नहीं मिल जाती। तब तक तैनात नहीं किए जा सकते। इसके लिए गाइडलाइन मांगी गई है।
रविंद्र कुमार मिश्रा, रीजनल टूूरिस्ट ऑफिसर
न आया आदेश, न कोई गाइडलाइन, हवा हवाई ईको टूरिज्म
कुसम्ही जंगल में ईको टूरिज्म को लेकर बनाए गए प्रस्ताव पर फिलहाल विराम लगा हुआ है। जबकि फारेस्ट डिपार्टमेंट की तरफ से इस मामले में गाइडलाइन के लिए मार्गदर्शन लिए गए। लेकिन कोई जवाब नहीं आने से अभी मामला ठंडे बस्ते में नजर आ रहा है। डीएफओ ने विनोद वन और उसके आसपास के क्षेत्र में पर्यटकों को नेचर कैंपिंग, बर्ड वॉचिंग, एडवेंचर एक्टिविटी, आरोग्य इको टूरिज्म सेंटर, नेचर ट्रेल एवं हाथी, घोड़ा, ऊंट और खुली जीप से सैर की सुविधा उपलब्ध कराने की योजना बनाई है। नेचर कैंपिंग के अंतर्गत टायलेट की सुविधा से युक्त स्विस टेंट पर्यटकों को उपलब्ध कराया जाएगा। लेकिन यह सबकुछ अभी भी शुरू नहीं हो सका है।