-आगरा मंडल से आए थे चार ट्रक आलू
GORAKHPUR : भूकंप पीडि़तों को भेजी जाने वाली राहत सामग्री के मंडी में बिकने पर प्रशासन सख्त हो गया है। संडे को गोरखपुर मंडी परिषद के उप निदेशक, विपणन प्रशासन ने सचिव को नोटिस देकर लिखित स्पष्टीकरण मांगा है। इसके बाद व्यवस्था में परिवर्तन करते हुए अब जिस जिले से राहत सामग्री आएगी, वहां के जिम्मेदार सामान की लिस्ट भी साथ में भेजेंगे। गोरखपुर मंडी में लिस्ट का मिलान होगा और एक कॉपी सुरक्षित रखी जाएगी। जब तक सामान मंडी से नेपाल के लिए रवाना नहीं हो जाता, अधिकारी की मौजूदगी अनिवार्य रहेगी।
मंडी सचिव देंगे इनके जवाब
क्। राहत सामग्री भेजने का आलू क्यों बेचा गया?
ख्। राहत सामग्री नेपाल भेजने के लिए किराया नहीं था तो संबंधित मंडी से क्यों बात नहीं की?
फ्। जिस समय आगरा से ट्रक महेवा मंडी में आई, तब जिम्मेदार अधिकारियों को इस बारे में अवगत क्यों नहीं कराया?
मंडी में बेचा था आलू
आगरा मंडल से आया चार ट्रक आलू और राहत सामग्री भूकंप पीडि़तों की सहायता के लिए काठमांडू भेजा जाना था, लेकिन मंडी सचिव ने एक ट्रक आलू एक व्यापारी की मिलीभगत से बेच दिया। मामले का खुलासा तब हुआ जब मैनपुरी के रहने वाले ट्रक खलासी हाशिम से बात हुई। आलू बेचे जाने का मामला सामने आते ही हड़कंप मच गया। फौरन मंडी सचिव का फोन घनघनाने लगा। जब उनसे सवाल किए गए तो वे भड़क गए। आलाधिकारियों ने सचिव को फटकार लगाते हुए तुरंत बिका आलू वापस कराने को कहा, आनन-फानन में मंडी प्रशासन ने फौरन बिका हुआ आलू खरीदकर ट्रक में लोड करवाया।
भूकंप पीडि़तों के लिए आई राहत सामग्री बेचने के मामले में सचिव को नोटिस दिया गया है। उनसे कई सवालों के जवाब मांगे गए हैं। सभी जिम्मेदारों को बता दिया गया है कि जिस जिले के जिस विभाग से राहत सामग्री आ रही है, उसकी पूरी जिम्मेदारी उसी विभाग की होगी। उन्हें भेजे जा रहे सामान की लिस्ट बनाकर देनी होगी।
एमसी गंगवार, उप निदेशक, विपणन प्रशासन