गोरखपुर (ब्यूरो)।पुलिस के हस्तक्षेप से मामला शांत हुआ। मरीज के परिजन ने गुलरिहा थाने में जूनियर डॉक्टर्स के खिलाफ तहरीर दी है। खबर लिखे जाने तक मुकदमा दर्ज नहीं हुआ था।

31 मई को हुआ था भर्ती

देवरिया जिले के बरहज कपरवार निवासी संदीप सिंह ने फिनायल पी ली थी जिससे उसकी हालत गंभीर हो गई। परिजनों ने बीआरडी मेडिकल कॉलेज में 31 मई की रात 2 बजे मेडिसिन विभाग के इमरजेंसी वार्ड नंबर 14 में भर्ती कराया। एक जून को उसे वार्ड नंबर 11 के बेड नंबर 65 पर शिफ्ट कर दिया गया। उनकी इलाज डॉक्टर की देखरेख में चल रहा था।

पहले बहस, फिर पिटाई

गुरुवार की शाम करीब 3 बजे मरीज संदीप सिंह की पत्नी अंकिता सिंह ने अपने पति को डिस्चार्ज कराने का डॉक्टर से अनुरोध किया, मना करने पर दोनों के बीच बहस होने लगी। आरोप है कि इस दौरान जूनियर डॉक्टर अपशब्द कहने लग गए। मरीज ने इसका विरोध किया तो उन्होंंने कई डॉक्टर्स को फोन करके बुला लिया। ड्यूटी रूम में लेजाकर आधा दर्जन से अधिक जूनियर डॉक्टर्स ने उसकी पिटाई कर दी। इसके बाद कागज पर उनसे जबरदस्ती लिखवा लिया कि उसने महिला डॉक्टर के साथ छेड़खानी की है। जब तक उन्होंने लिखवा नहीं लिया, तब तक उसकी पिटाई करते रहे। मरीज को घसीटकर कमरे में ले जाने का पत्नी ने वीडियो भी बनाया, जिसे उन्होंने डिलीट भी करवा दिया।

पत्नी ने दी लिखित तहरीर

मरीज संदीप सिंह की पत्नी अंकिता सिंह ने प्रभारी निरीक्षक गुलरिहा को लिखित तहरीर दी है। तहरीर के माध्यम से बताया कि मेरे पति को बुरी तरह से कमरे में बंद कर मारा पीटा गया है। उसने अपने फोन से जो वीडियो बनाया था। उस मोबाइल को जूनियर डॉक्टर्स ने छीन लिया और वीडियो डिलीट कर मोबाइल को फॉर्मेट मार दिया। चोट छिपाने के लिए उसके पति को दूसरी कमीज भी पहना दी और धमकाकर जबरन एक कागज पर लिखवा कर साइन भी करवा ली गइ्र। कुशीनगर के डीपीआरओ ऑफिस में अकाउटेंट है और उनकी पत्नी जेडीएस इंटरमीडिएट कॉलेज, पडरौना में टीचर हैं। अंकिता सिंह ने डॉ। अल्का मीना और आठ जूनियर डॉक्टर्स के खिलाफ तहरीर दी है।

पहले भी अटेंडेंट को पीट चुके हैं जूनियर डॉक्टर

- 4 फरवरी 2023 मेडिकल कॉलेज में जूनियर डॉक्टर्स ने दिव्यांग को कमरे में बंद कर पिटाई की। पांच डॉक्टर्स के खिलाफ केस दर्ज।

-29 अक्टूबर 2022-पिपराइच इलाके के घनश्याम राजभर ने डॉक्टर्स पर मरीज के इलाज में लापरवाही का आरोप लगाया तो जूनियर डॉक्टर्स ने उनकी पिटाई कर दी।

-4 अगस्त 2022-सिद्धार्थनगर के युवक ने भी मरीज के इलाज में लापरवाही का आरोप लगाया तो जूनिर डॉक्टर्स ने उसे पकड़कर बुरी तरह पीट दिया।

-2 अगस्त 2022-सहजनवां के रहने वाले कुवर बीआरडी में एक्सपॉयर ब्लड चढ़ा दिया गया। जब उन्होंने इसका विरोध किया तो उनकी डॉक्टर्स ने पिटाई कर दी।

-21 अगस्त 2021-जूनियर डॉक्टर एक व्यक्ति की पिटाई कर रहे थे। उनकी बेटी जब इसका वीडियो बनाने लगी तो जूनियर डॉक्टर्स ने युवती की भी पिटाई की।

-25 जुलाई 2019-बीआरडी के मेडिसिन वार्ड नंबर 9 में भर्ती रामदुलारे को जूनियर डॉक्टर्स ने दौड़ाकर बुरी तरह से पीटा।

-12 जुलाई 2019 बीआरडी में इलाज के दौरान मरीज आनंद कुमार चौरसिया की मौत हो गई। परिवार के लोगों ने दोबारा जांच की मांग की तो जूनियर डॉक्टर्स ने दौड़ाकर पीटा।

-22 अप्रैल 2019 बीआरडी मेडिकल कॉलेज में इलाज के दौरान अंशु नाम के मरीज की मौत हो गई। परिजनों ने लापरवाही का आरोप लगाया तो डॉक्टर्स ने परिवार के लोगों को बुरी तरह से पीट दिया।

6 दिसंबर 2019 मेडिसिन वार्ड में देवरिया के तीमारदार को भी जूनियर डॉक्टर्स ने बेरहमी से पीट दिया।

-10 दिसंबर 2018 सर्जरी वार्ड नंबर 4 में भर्ती मरीज आकांक्षा के पिता कोमल को जूनियर डॉक्टर्स ने बुरी तरह से पीटा था।

-12 सितंबर 2018 बीआरडी के मेडिसिन वार्ड में भर्ती मरीज को देखने आई देवरिया की महिला को यहां के डॉक्टर्स ने पीटा था।

8 नवंबर 2016 बीआरडी के ट्रामा सेंटर में भर्ती मरीज खुशबू के परिवार के लोगों को भी जूनियर डॉक्टर्स ने बुरी तरह से पीटा था।

जूनियर डॉक्टर्स ने अगर मरीज को मारा पीटा है तो गलत है। मामले की जांच कराई जाएगी। जांच में जो भी दोषी पाया गया उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।

डॉ। गणेश कुमार, प्रिंसिपल बीआरडी मेडिकल कॉलेज