गोरखपुर: बुधवार को नगर आयुक्त गौरव सिंह सोगरवाल ने इससे संबंधित वर्क आर्डर कंपनी के प्रतिनिधियों को सौंप दिया। साथ ही प्रतिनिधियों को जल्द काम शुरू करने के निर्देश दिए। कंपनी पोखरे का पानी साफ करने के लिए नैनो बबल तकनीक का इस्तेमाल करेगी। निगम अधिकारियों के मुताबिक कंपनी अपने दावे पर खरी उतरी तो उसे दूसरे दूसरे तालाब और पोखरे के जलशोधन का काम भी दिया जाएगा।

एरेटर छोटे बुलबुले की मदद से करता है पानी साफ


बुधवार को नगर आयुक्त कार्यालय में कंपनी प्रतिनिधियों को वर्क आर्डर सौंपने के दौरान मुख्य अभियंता संजय चौहान समेत नगर निगम के अन्य अभियंता भी उपस्थित रही। बशारतपुर स्थित मोती पोखरे की सफाई गुजरात की कंपनी वेलिएंट इंटैक प्राइवेट लिमिटेड, नैनो बबल तकनीक के जरिए 'एरेटरÓ की मदद से करेगी। एरेटर छोटे-छोटे बुलबुलों की मदद से पानी की सफाई करता है।

प्रोजेक्ट पर खर्च होंगे 30 लाख


सफाई के दौरान एरेटर तालाब के बाहर से ऑक्सीजन लेकर उसे तालाब के तल तक धकेलता है। ऐसे में जल में आक्सीजन की मात्रा काफी ज्यादा रहती है। आक्सीजन पर्याप्त मात्रा में होने के कारण तालाब के जल में लाभकारी बैक्टीरिया को पनपने और खुद को तेजी से विस्तारित करने का अवसर मिलता है। नैनो बबल पानी में घुलित आक्सीजन की उपलब्धता हर तरफ बढ़ा देते हैं। इस पूरे प्रोजेक्ट पर 30.05 लाख रुपये खर्च होंगे जिसका खर्च फर्म स्वयं उठाएगी।


फर्म के प्रस्ताव पर पायलेट प्रोजेक्ट के रूप में मोती पोखरे को साफ करने का वर्क आर्डर बुधवार को नगर आयु1त सौंप दिया है। जल्द ही फर्म काम शुरू करेगी। पोखरे की सफाई होने पर नगर निगम स्वयं की ओर से वहां सुंदरीकरण का काम भी कराएगा।
गौरव सिंह सोगरवाल, नगर आयुक्त