गोरखपुर (ब्यूरो)।मई के अंत तक नई दरें लागू हो सकती हैं। इसलिए कंज्यूमर्स को अतिरिक्त जेब ढीली करनी होगी। इस बीच विद्युत वितरण निगम गोरखपुर के अफसरों ने बचत के उपाय भी सुझाव हैं। जबकि पब्लिक का कहना है कि बिजली निगम में शिकायत के बावजूद कई बार आपूर्ति बहाल नहीं होती। यदि उन्हें अच्छी इलेक्ट्रिक सप्लाई मिलती है तो उन्हें अतिरिक्त दरों से कोई दिक्कत नहीं है। सीमित बिजली का उपयोग कर वे अपना बजट मेंटेन रखेंगे।
सीमित प्रयोग से होगी बचत
हम सभी लोग अक्सर ज्यादा बिजली का बिल आने से परेशान रहते हैं। इस उलझन में रहते हैं कि आखिर बिजली बिल को कैसे कम किया जाए। हालांकि बिना बिजली के हमारा काम भी नहीं चल सकता। क्योंकि पंखा, फ्रिज, टीवी, हीटर, वाशिंग मशीन, कूलर, एसी जैसी तमाम रोजमर्रा की ऐसी चीजें हैं। जिनके बिना हम नहीं रह सकते। इन सबके इस्तेमाल से ही हमारे घरों, प्रतिष्ठनों का बिजली का बिल ज्यादा आता है। हालांकि कई ऐसे छोटे-छोटे उपाय हैं, जिन्हें अपनाकर हम अपना बिजली का बिल कम कर सकते हैं।
कैसे कम करें बिजली बिल?
- छत के पंखों के लिए नया इलेक्ट्रॉनिक रेगुलेटर लगवाएं। पुराना पंखा 75 वॉट का होता था। अब नए तकनीक के बिजली बचाने वाले 35 वॉट के पंखे भी मिलते हैं। ऐसे में पुराने पंखे बदले जा सकते हैं।
- मोबाइल, लैपटॉप, कैमरे समेत बाकी चीजों के चार्जर के प्लग इस्तेमाल के बाद निकाल देने चाहिए, हम लोग अक्सर जल्दी में चार्जर लगा छोड़ देते हैं।
- काम नहीं होने पर लाइटें बंद करने की आदत डालें, यह सबसे जरूरी आदत होनी चाहिए। इससे भी बिजली की बचत काफी हद तक की जा सकती है।
- जिस जगह जरूरत हो वहीं पर लाइट जलाएं, रात को सिर्फ टेबल लैंप जलाएं।
- प्राकृतिक रोशनी का ज्यादा इस्तेमाल करें। कमरे में हल्के शेड के कलर कराएं, हल्के रंगों वाले पर्दों का इस्तेमाल करें।
- बल्ब, ट््यूब लाइट आदि पर डस्टिंग है तो उसे नियमित साफ करें। धूल के चलते लाइट कम मिलती है।
- पुराने बल्ब या ट्यूब लाइट की जगह एलईडी का इस्तेमाल करें। एक 100 वाट के बल्ब से जितनी रोशनी मिलती है उतनी रोशनी केवल 15 वाट के एलईडी से मिल सकती है।
- पुराने कॉपर चोक की जगह नए इलेक्ट्रानिक चोक वाली या एलईडी ट्यूब लाइट का इस्तेमाल करें।
- इलेक्ट्रिकल केटल यानि पानी गर्म करने की केतली का इस्तेमाल करते हों तो उसे नियमित साफ करें। साल्ट जमने पर केटल में ज्यादा बिजली खर्च होती है।
- इलेक्ट्रिक आयरन टेम्परेचर बढऩे पर ऑटोमेटिक बंद होने वाली लें। गीले कपड़ों पर ज्यादा पानी भी ना छिड़कें। इससे आयरन में बिजली ज्यादा खर्च होती है।
- फ्रिज को बहुत कम टेम्परेचर पर सेट करके न रखें। इससे काफी ज्यादा बिजली खर्च होती है।
- वाशिंग मशीन में पूरे कपड़े धोएं, दो चार कपड़ों के लिए वाशिंग मशीन ना चलाएं। क्योंकि इससे फालतू की बिजली खर्च होती है।
- एसी बहुत कम तापमान पर न चलाएं। 25 डिग्री पर चलाएं। इसे कम खर्चे में सही तापमान मिलेगा।
- सेंट टॉप बॉक्स, टीवी, माइक्रोवेव, गीजर, एसी आदि का प्लग लगा हो तो स्विच बंद होने पर भी ये बिजली खाते हैं। इनके स्विंच बंद होने पर भी प्लग लगे होने से न्यूट्रल वायर के जरिए इलेक्ट्रिसिटी लेते रहते हैं। इसलिए इनके प्लग निकाल देने चाहिए। नहीं तो ये बिजली का बिल काफी बढ़ाते रहते हैं।
- गीजर हमेशा चालू न रखें। गीजर का टेम्परेचर अधिक पर भी सेट न करें। साथ ही हो सके तो गैस वाले गीजर का इस्तेमाल करें।
- कंप्यूटर, टीवी, म्यूजिक सिस्टम आदि काम में नहीं रहे, तो पावर स्विच बंद कर दें, नहीं तो बिजली की खपत जारी रहेगी।
- अगर कंप्यूटर चालू रखना जरूरी हो तो मानिटर बंद कर दें।
- एनर्जी सेविंग मोड का इस्तेमाल करें। इससे बहुत बिजली बचती है।
- ओटीजी की जगह माइक्रोवेव ओवन काम में ले। ओटीजी में माइक्रोवेव से ज्यादा बिजली लगती है।
- घरों में वायरिंग कराने से पहले कॉपर वायर का ही इस्तेमाल करें, इससे बिजली की खपत कम होती है।
- हीटर और इंडेक्शन का इस्तेमाल नहीं करना चाहिए। इससे बिजली अधिक खर्च होती है।
कैटेगरी घरेलू शहरी वर्तमान फिक्स चार्ज रु। वर्तमान एनर्जी चार्ज रु। प्रस्तावित फिक्स चार्ज रु। प्रस्तावित एनर्जी चार्ज रु।
0-100 यूनिट 110 5.50 प्रति यूनिट 120 6.50 प्रति यूनिट
101 से 150 यूनिट 110 5.50 प्रति यूनिट 120 6.50 प्रति यूनिट
151 से 300 यूनिट 110 6.00 प्रति यूनिट 120 7.00 प्रति यूनिट
300 से ऊपर 110 6.50 प्रति यूनिट 120 8.00 प्रति यूनिट
बिजली का सीमित प्रयोग करने से कम बिजली का बिल आएगा। इसके लिए उन्हें 5 स्टार रेटेड उपकरणों का इस्तेमाल करना चाहिए। साथ ही घरों की वायरिंग कॉपर वायर से ही करना चाहिए।
ई। यूसी वर्मा, एसई शहर
बिजली की समस्या होने पर विभाग के कर्मचारी सुनते नहीं है। काफी मान मनौव्वल के बाद किसी तरह से बिजली ठीक कराई जाती है। दरें बढ़ाएं, पर उससे पहले बिजली आपूर्ति दुरुस्त करें। आवश्यकता के अनुसार बिजली यूज की जाएगी।
राजेश दत्त, महेवा
अगर बिजली खराब हो गई तो विभाग उसे ठीक कराने में जल्दी जहमत नहीं उठाता है। साथ ही बिल की गड़बड़ी भी दूर नहीं करते। अच्छी आपूर्ति मिलती है तो अतिरिक्त दरें चुकानें में कोई दिक्कत नहीं है। सीमित यूज कर बिजली बिल में बचत करेंगे।
महेंद्र पांडेय, भगत चौराहा
इस तरह की आ रहीं कंप्लेन
केस 1
देवरिया निवासी दिनेश चंद्र बिजली की खराबी से दो दिनों से परेशान थे। इसकी वजह से रात में अंधेरे में रहना पड़ रहा था। कंट्रोल रूम में सुबह उन्होंने फोन किया तो उनकी समस्या का समाधान हो सका।
केस 2
शहर के विकास नगर के रहने वाले विनय त्रिपाठी के घर की बिजली 24 घंटे से खराब थी। कंट्रोल रूम के नंबर 9415737209 पर कंप्लेन की, तब जाकर उनके घर की आपूर्ति बहाल हो सकी।