गोरखपुर (ब्यूरो)।इन ईंट भट्ठा मालिकों ने प्रदूषण विभाग से एनओसी/सहमति नहीं ली थी। प्रदूषण रहित धुआं छोडऩे वाला यंत्र भी नहीं लगाया था। मिट्टी की स्वच्छता का प्रमाण पत्र भी नहीं लिया था। स्थानीय प्रशासन और प्रदूषण विभाग की टीम ने कार्रवाई की। क्षेत्रीय प्रदूषण विभाग की ओर से बताया गया कि जिले में 217 अवैध भट्ठे किए चिहिनत गए हैं।
सहजनवां तहसीलदार के नेतृत्व में पहुंची टीम
गुरुवार सुबह सहनजवां तहसीलदार केशव प्रसाद, प्रदूषण विभाग के रजनीश सिंह टीम के साथ नंदापार, जैतपुर, ककना, नगवां गांव में पहुंचे। उन्होंने पहले भट्ठों का निरीक्षण किया और इसके बाद बुलडोजर से कार्रवाई की। कार्रवाई के दौरान बनाए गए ईंटों को क्षतिग्रस्त किया गया। साथ ही हिदायत भी दी गई कि अगर दोबारा ऐसा किया गया तो कानूनी कार्रवाई भी की जाएगी।
अधिक मुनाफा के चलते अवैध कारोबार
ईंट के व्यापारियों से जुड़े लोगों का मानना है कि ईंट के व्यवसाय में काफी मुनाफा है। यही कारण है कि सारे नियम ताक पर रखकर अवैध ईंट भट्ठा संचालित किया जाता है। अवैध ईंट भट्ठे से सरकार को राजस्व को नुकसान तो हो ही रहा है साथ पर्यावरण को नुकसान पहुंचा रहे हैं।
राजस्व, मिट्टी की जमकर चोरी
अवैध ईंट भट्ठों से न सिर्फ पर्यावरण को नुकसान पहुंचता है बल्कि राजस्व, पानी, मिट्टी, चोरी की बिजली का भी जमकर इस्तेमाल होता है। इसके कारण भू जल स्तर को नुकसान पहुंचता है।
सहजनवां तहसील में आठ अवैध भट्ठों पर कार्रवाई की गई है। अभी 200 से ऊपर भट्ठों पर कार्रवाई होनी है। लगातार टीम कार्रवाई करती रहेगी।
- पंकज यादव, रीजलन पॉल्युशन ऑफिसर