- बशारतपुर में शहर के सबसे पुराने मेला में लगता है जमावड़ा

- क्रिसमस के दिन शहर का सबसे पुराना लगता है मेला

- क्रिसमस के दिन पूरी रात बशातपुर मेले में रहती है रौनक

GORAKHPUR: शहर में इन दिनों चारों क्रिसमस का खुमार छाया हुआ है। बशारतपुर में क्रिसमस और न्यू इयर पर लगने वाले मेले की तैयारियां भी शुरू हो गई है। चर्च की ओर से लगने वाले मेले के लिए ग्राउंड की साफ-सफाई शुरू हो गई है। उन राहों को भी चमकाया जा रहा है, जिन सड़कों पर मेला लगाया जाएगा। सेंट जॉन्स चर्च बनने के साथ ही यहां मेला लगना शुरू हो गया था, लेकिन आजादी के बाद यहां सबसे अधिक भीड़ जुटने लगी।

तीन जगह लगता है मेला

बशारतपुर के सेंट जॉन्स चर्च के पास 24 से लेकर 25 दिसंबर की रात तक बहुत बड़ा मेला लगता है। यह मेला 24 दिसंबर की दोपहर के बाद से शुरू हो जाता है, जो 25 दिसंबर की रात तक चलता है। लोगों की मानें तो सेंट जॉन्स चर्च के सामने लगने वाले इस मेले में एक लाख से अधिक लोग भाग लेते हैं। विनोद अलेक्जेंडर का कहना है कि इस मेले में सिर्फ मसीही ही नहीं बल्कि बाकी अन्य समुदाय के लोग भी शामिल होते हैं। वहीं 1 जनवरी को न्यू इयर के अवसर पर हाई स्कूल के ग्राउंड और पानी के टंकी के पास भी बड़ा मेला लगाया जाता है। इसमें स्कूल ग्राउंड पर खेल-कूद, जबकि पानी की टंकी वाले ग्राउंड पर खाने-पीने और मनोरजंन के सामान उपलब्ध होते रहते हैं।

एक सप्ताह तक रहती है रौनक

क्रिसमस में बशारतपुर एरिया में एक सप्ताह तक जगमगाता रहता है। इस दौरान जहां बशारतपुर के अधिकांश घर सजे हुए नजर आते हैं, वहीं उनके आसपास भी मेले जैसा माहौल ही रहता है। बशारतपुर के रहने वाले विनोद अलेक्जेंडर की मानें तो एरिया में 24 दिसंबर से लेकर 1 जनवरी तक जबरदस्त भीड़ रहती है। पूरे समय मेले जैसे माहौल रहता है। इसमें सबसे अधिक भीड़ 25 दिसंबर और 1 जनवरी को रहती है।