- ओवरब्रिज बनाने में काम आएंगी कबाड़ पड़ी मशीनें
- आई नेक्स्ट ने पब्लिश की थी 'गल गई मशीनें' हेडिंग से न्यूज
द्दह्रक्त्रन्य॥क्कक्त्र : केंद्रीय लोक निर्माण भंडार में 2008 से सड़ रही मशीनों के दिन बहुरने वाले हैं। आई नेक्स्ट की खबर पर प्रशासन जागा है और इन मशीनों को इस्तेमाल लायक बनाने के निर्देश दिए गए हैं। मशीनरी को ठीक कराने की जिम्मेदारी पीडब्ल्यूडी के विद्युत यांत्रिक खण्ड को सौंपी गई है। गौरतलब है कि आई नेक्स्ट ने 13 मार्च के इशू में 'गल रहीं मशीनें' हेडिंग से न्यूज पब्लिश की थी। आई नेक्स्ट ने बताया था कि 2008 रोड कंस्ट्रक्शन के लिए तत्कालीन पीडब्ल्यूडी मिनिस्टर नसीमुद्दीन सिद्दीकी ने मशीनें खरीदने का ऑर्डर दिया था। गोरखपुर में करीब ढाई करोड़ की लागत से मशीनें खरीदी गई जिन्हें जंगल सिकरी स्थित केन्द्रीय लोक निर्माण भंडार में रखा गया। तब से पड़े-पड़े ये मशीनें सड़ने की कगार पर पहुंच गई थीं। आई नेक्स्ट की खबर पर जिम्मेदारों की नींद खुली। अब ये मशीनें चलने लायक बनाकर सेतु निगम को सौंपी जाएगी।
शासन को भेजी गई रिपोर्ट
आई नेक्स्ट की खबर के बाद पीडब्ल्यूडी के प्रमुख अभियंता, लखनऊ ने निर्माण खंड भवन को लेटर लिखकर खराब पड़ी मशीनों को सेतु निगम के हवाले करने का निर्णय लिया है। सेतु निगम के इंजीनियर्स?ने खराब मशीनरी की जांच की और रिपोर्ट शासन को भेज दी गई है। जानकारों की मानें तो ये इन कंडम उपकरणों को चलाने के लिए लाखों रुपए खर्च करने पड़ेंगे।
शासन ने सीसी रोड बनाने के लिए निर्माण खण्ड भवन को मशीनरी भेजी थी, लेकिन इन्हें चलाने वाला कोई नहीं था। इस वजह से स्टोर में ही रखी रह गई। मशीनरी को ठीक कराने के लिए विद्युत यांत्रिक खण्ड को जिम्मेदारी दी गई है। इन उपकरणों को जल्द ही सेतु निगम को सौंप दिया जाएगा।
केके माथुर, अधिशासी अभियंता, विद्युत यांत्रिक खण्ड