गोरखपुर (ब्यूरो)। 2019-21 की रिपोर्ट में उत्तर प्रदेश के अलग-अलग जिलों का हाल भी अलग-अलग है। डॉक्टर्स की मानें तो यदि समय रहते लाइफस्टाइल में बदलाव न किया गया तो आने वाले समय में हाइपरटेंशन के पेशेंट्स की संख्या और भी बढ़ सकती है।
हाइपरटेंशन से शरीर को नुकसान
बीआरडी मेडिकल कॉलेज के मेडिसिन विभाग के डॉ। महिम मित्तल ने बताया, हाई ब्लड प्रेशर या हाइपरटेंशन एक ऐसी बीमारी है, जिसके कारण नसों में ब्लड सर्कुलेशन इस निश्चित सीमा को पार कर जाता है तो ऐसे में शरीर में हाई ब्लडप्रेशर या हाइपरटेंशन की स्थिति पैदा हो जाती है। हाई ब्लड प्रेशर न सिर्फ नसों के लिए खतरनाक है। बल्कि ये शरीर के सबसे महत्वपूर्ण अंगों जैसे हार्ट, माइंड, किडनी पर भी इफेक्ट डालता है। ब्लड प्रेशर बढऩे से हार्ट पर दबाव पडऩा शुरू हो जाता है। इसके कारण हार्ट को काफी तेजी से काम करने लगता है। यह स्थिति हार्ट के लिए खतरनाक है, जो हार्ट अटैक का कारण बन सकती है। मोटापा, असंतुलित आहार, नींद की कमी, तनाव या डिप्रेशन हाइपरटेंशन के मुख्य कारण हैं।
हाइपरटेंशन के सिंप्टम्स
- सिर में अत्यधिक दर्द होना।
- छाती में दर्द या दबाव।
- स्पष्ट दिखाई न देना, बेचैनी या घबराहट होना।
- सांस फूलना।
- शरीर का तापमान बढ़ जाना।
- थकान महसूस होना।
- भ्रम की स्थिति पैदा होना।
ऐसे करें बचाव
- जीवनशैली को नियमित बनाए रखें।
- जीवन में अनुशासन का पालन करें
- हर चीज को समय पर करें, ताकि आपको मानसिक तनाव से न गुजरना पड़े।
- एल्कोहल का सेवन न करें। फिजिकल एक्टिविटी बढ़ा दें।
- यह ब्लड प्रेशर का स्तर नियमित बनाता है।
- नमक भोजन के स्वाद को बढ़ाने में जरूरी हे लेकिन नमक की एक निश्चित मात्रा ही आहार में लें।
- मानसिक तनाव से बचना चाहिए।
- मानसिक तनाव कम करने के लिए योग करें।
- पर्याप्त नींद का होना आवश्यक है।
कहां किसे कितना हाइपरटेंशन
जिला मेल फीमेल
गोरखपुर 20.7 16.8
गाजियाबाद 24.5 19.31
वाराणसी 27.1 19.0
प्रयागराज 17.7 12.6
बरेली 25.0 19.2
लखनऊ 22.8 21.2
मेरठ 26.2 20.0
आगरा 20.9 16.8
कानपुर देहात 16.5 12.6
कानपुर नगर 16.2 17.3
(नोट: यह सर्वे 15 साल से अधिक उम्र के लोगों पर किया गया.)
लाइफ स्टाइल, तनाव, स्मोकिंग, अनिद्रा आदि से हमारी धमनियां मोटी और कठोर हो जाती हंै, जिससे ब्लड प्रेशर बढ़ जाता है। आंख, गुर्दे, हार्ट और दिमाग की नस का फटना आदि गंभीर परिणाम हो सकते हैं। हाइपरटेंशन से बचाव के लिए नमक कम करें, खाने में हरी सब्जियां और फल का सेवन करें। नियमित 30 मिनट तक टहलें। अगर इसके बाद भी बीपी कंट्रोल ना हो तो तत्काल डॉक्टर से संपर्क कर दवा का सेवन करें।
- डॉ। राजकिशोर सिंह, प्रोफेसर, मेडिसिन विभाग बीआरडी
हमारी धमनियों में लिक्विड जम जाता है। फीमेल में एक्स हार्मोंस कम होते हैं। स्ट्रोजन एलडीएल कोलेस्ट्रॉल के स्तर को कम करता है और एचडीएल कोलेस्ट्रॉल के स्तर को बढ़ाता है। इसी कारण फीमेल्स में हाइपरटेंशन की प्रॉब्लम कम रहती है। लेकिन रजोनिवृति के बाद फीमेल्स में पुरुषों की तुलना में उच्च ब्लड प्रेशर विकसित होने की संभावना समान है। प्राणायाम, योग, 40 से उम्र के व्यक्ति को लिपिड प्रोफाइल की जांच, प्रतिदिन 30 मिनट तक एक्सरसाइज करना जरूरी है।
- डॉ। मनोज सौरभ, एचओडी फार्माकॉलोजी विभाग एम्स