- सभी का वेतन काटने का दिया आदेश
GORAKHPUR: जिले की स्वास्थ्य व्यवस्था सुधारने के लिए सीएमओ का जांच अभियान दूसरे दिन भी जारी रहा। बुधवार को छह अस्पतालों की जांच की गई। इस दौरान 11 डॉक्टर समेत दो दर्जन से अधिक कर्मचारी गैर हाजिर मिले। सभी का वेतन रोक कर स्पष्टीकरण मांगा गया है।
गायब रहने की मिली सजा
सीएमओ डॉ। रवींद्र कुमार सीएचसी सिंहोरिया पर बुधवार को सुबह सवा दस बजे पहुंचे। उनके साथ सहायक शोध अधिकारी सुधांशु श्रीवास्तव भी मौजूद थे। अस्पताल में सिर्फ चौकीदार, दो नर्स और मरीज मौजूद थे। यह देखकर सीएमओ भड़क गए। उन्होंने डॉ। पंकज कुमार दीक्षित, डॉ। कुमुद सिंह, डॉ। आरके शुक्ला, डॉ। राकेश सिंह, नर्स शिखा सिंह, फार्मासिस्ट एसपीएस यादव, बृजेश गुप्ता, डेंटल हाईजीनिस्ट अशोक सिंह, लैब टेक्नीशियन जय सिंह, वार्ड ब्वॉय विनोद कुमार को अटेंडेंस रजिस्टर में अबसेंट कर दिया। इसके बाद वह सीएचसी पिपराईच की जांच करने पहुंचे। यहां डॉ। एके देवल, डॉ। विनीता मोदी, नर्स किरनबाला हेनरी, लैब टेक्नीशियन शिल्पा पांडेय, स्वास्थ्य शिक्षा अधिकारी संजय सिंह और राजू गैरहाजिर मिले। अस्पताल में बिस्तर पर गंदे चादर देख सीएमओ का पारा चढ़ गया। उन्होंने बाहर से दवा लिखने की शिकायत मिलने पर डॉ। आनंद को फटकार भी लगाई। इसके बाद उन्होंने न्यू पीएचसी पतरा का भी निरीक्षण किया। इसके अलावा सीएमओ के निर्देश पर डिप्टी सीएमओ डॉ। एनके पांडेय ने सीएचसी बासूडिहा, रकहट पीएचसी और सीएचसी बड़हलगंज की जांच की। यहां भी कर्मचारी अनुपस्थित मिले। सभी अनुपस्थित मिले कर्मचारियों का वेतन काटने का आदेश सीएमओ ने दिया।