15 से हो रही है counselling
बीसीबी के पीजी कोर्सेज में एडमिशन के लिए काउंसलिंग 15 सितम्बर से कंडक्ट हो रही हैं। एमएससी, एमकॉम के साथ एमए के सभी सब्जेक्ट्स के लिए काउंसलिंग कराई जा रही है। इससे पहले फॉर्म जमा करने के लिए कॉलेज एडमिनिस्ट्रेशन कई बार डेट बढ़ा चुका है। वहीं काउंसलिंग में भी स्टूडेंट्स की आमद उम्मीद से कम ही रही, जिसके चलते काउंसलिंग को तय समय से ज्यादा दिनों तक खींचा गया।
50 फीसदी सीटें भी नहीं भरी
एमए फिलॉसफी की 80 स्वीकृत सीटें हैं। वहीं इनमें से 8 सीटें पहले से ही नॉन स्ट्रीम वाले स्टूडेंट्स के लिए रिजर्व हैं। नॉन स्ट्रीम के तहत वे ही स्टूडेंट्स अप्लाई कर सकते हैं, जिन्होंने बीए में फिलॉसफी सब्जेक्ट नहीं लिया हो लेकिन एमए में पढऩा चाहते हों। अब तक की काउंसलिंग में काफी मशक्कत करने के बाद भी केवल 32 सीटें ही भर पाईं। वो भी तब जब फॉर्म खरीदने और काउंसलिंग के शेड्यूल को लंबे समय तक ले जाया गया। एडमिशन लेने वाले स्टूडेंट्स की पहली लिस्ट जारी करने के बाद यह उम्मीद थी कि रिक्त सीटों के चलते स्टूडेंट्स एडमिशन के लिए आएंगे, लेकिन स्टूडेंट्स ने कोई इंट्रेस्ट नहीं दिखाया।
सीटों को करना पड़ा सरेंडर
थक हार कर कॉलेज एडमिनिस्ट्रेशन को सीटें नॉन स्ट्रीम के साथ दूसरे बीकॉम और बीएससी स्टूडेंट्स के लिए ओपन करना पड़ा। नॉन स्ट्रीम के रिजर्व 8 सीटों पर टोटल 29 स्टूडेंट्स ने अप्लाई किया, जिसमें से शेष 21 स्टूडेंट्स को बची हुईं 40 सीटों को ओपन कर एडमिशन दिया गया। एडमिशन के बाद भी जो 19 सीटें बचीं उसके लिए कॉलेज एडमिनिस्ट्रेशन ने बीकॉम और बीएससी स्टूडेंट्स से आवेदन मंगाए हैं। कॉलेज के ओएसडी अंजुम आदिल ने कहा कि नए आदेश के बाद जो भी सीटें रिक्त हैं, उनपर उन स्टूडेंट्स को भी एडमिशन दिया जा सकेगा, जिन्होंने यूजी में बीकॉम और बीएससी की पढ़ाई की हो लेकिन पीजी में एमए करना चाहते हों।