आंगनबाड़ी वर्कर को टेबलेट देने के प्रोजेक्ट पर वर्क शुरू

प्रोजेक्ट में कुपोषण के साथ-साथ टीकाकरण भी होगा शामिल

प्रोजेक्ट के तहत आनलाइन होगा डाटा

BAREILLY: छोटे बच्चों का प्रॉपर टीकाकरण न होने के चलते उनकी सेहत काफी खराब हो जाती है। बच्चे को कब कौन सा टीका लगना है इसकी टेंशन अब मां-बाप को नहीं लेनी होगी। डिस्ट्रिक्ट एडमिनिस्ट्रेशन एसएमएस के जरिए पेरेंट्स को टीका लगवाने की जानकारी देगी। क्यारा ब्लाक में आंगनबाड़ी वर्कर जो टेबलेट दिया जाएगा, उसका इस्तेमाल कुपोषण के अलावा टीकाकरण का भी डाटा फीड करने के लिए किया जाएगा। भोपाल से लौटने के बाद डिस्ट्रिक्ट एडमिनिस्ट्रेशन टीम ने वर्क स्टार्ट कर ि1दया है।

भोपाल ट्रेनिंग के लिए गइर् थी टीम

भोपाल में टेबलेट पर आंगनवाड़ी वर्कर के प्रोजेक्ट को बरेली डिस्ट्रिक्ट में पायलट प्रोजेक्ट के तौर पर लागू किया जाना है। प्रोजेक्ट को बरेली के क्यारा ब्लाक में लागू किया जा रहा है। इसके लिए जिला कार्यक्रम अधिकारी राजेश कुमार और एनआईसी हेड बरेली मनोज कुमार भोपाल से ट्रेनिंग लेकर आ चुके हैं। वहां के डीएम और आंगनबाड़ी वर्कर से पूरे प्रोजेक्ट को समझा। फिर वहां प्रोजेक्ट को चला रही कंपनी से भी बात की गई। बरेली वापस लौटते ही प्रोजेक्ट की तैयारी तेज कर दी गई हैं।

क्ख्ब् आंगनबाड़ी सेंटर्स का होगा डाटा कलेक्ट

सबसे पहले क्यारा ब्लाक के क्ख्ब् आंगनबाड़ी केंद्र के तहत आने वाले सभी लोगों का पूरा डाटा कलेक्ट किया जाएगा। इसके तहत पुरुष-महिला और बच्चों की डिटेल कलेक्ट की जा रही है। इस ब्लाक के म् साल तक के बच्चों का डाटा टेबलेट में फीड किया जाएगा। इसके तहत बच्चे का वेट कितना है। उसकी पोषण की स्थिति क्या है। म् साल से अधिक उम्र होने के बाद बच्चे का डाटा ऑटोमेटिक डिलीट हो जाएगा। इसमें न्यू बोर्न बेबी का भी डाटा फीड होता रहेगा। इसे एनएफसी से भी जोड़ दिया जाएगा। इंटरनेट के कम खर्च के लिए टेबलेट पर ख्ब् घंटे नेट आन नहीं रहेगा।

पांच टेबलेट से होगी शुरुआत

क्यारा ब्लाक में डाटा फीडिंग के लिए सबसे पहले पांच टेबलेट दिए जाएंगे। ये टेबलेट आंगनबाड़ी वर्कर के सुपरवाइजर को दिए जाएंगे। अभी ब्लाक में तीन सुपरवाइजर तैनात हैं। जल्द ही दो ओर सुपरवाइजर की तैनाती की जाएगी। भोपाल में योजना को वात्सल्य नाम दिया गया है। बरेली में इसका नाम ममता, आंचल या कोई और रखा जाएगा।

दो साल तक बच्चों को सभी टीकों की जानकारी

बरेली में कुपोषण के साथ-साथ बच्चों के टीकाकरण को भी जोड़ा जाएगा। इसके तहत दो साल तक के बच्चों को सभी टीके लगवाने के लिए पेरेंट्स को एसएमएस के जरिए जानकारी दी जाएगी। किस बच्चे को कब कौन सा टीका लगना है इसका मैसेज मिलते ही पेरेंट्स उसे टीका लगवाएंगे।

भोपाल में प्रोजेक्ट देखने के बाद बरेली में भी इसकी तैयारी शुरू कर दी गई है। इस प्रोजेक्ट में डाटा अॅानलाइन भी होगा और नेट का खर्च भी कम आएगा।

मनोज शर्मा, प्रिंसिपल साइंटिस्ट एनआईसी

प्रोजेक्ट के तहत क्यारा ब्लाक का डाटा कलेक्शन का वर्क स्टार्ट कर दिया गया है। कुपोषण के साथ-साथ बच्चों के टीकाकरण की जानकारी भी एसएमएस से दी जाएगी।

राजेश कुमार, जिला कार्यक्रम अधिकारी बरेली